डीएनए हिंदी: Divi's Laboratories Ltd एक लार्ज-कैप कंपनी है जिसका मार्केट कैप (Divi's Lab Market Cap) 99,157.82 करोड़ रुपये है जो फार्मास्युटिकल सेक्टर में काम कर रही है. Divi's एपीआई, इंटरमीडिएट और रजिस्टर्ड स्टार्टिंग मटीरियल्स का दुनिया का अग्रणी निर्माता है, जो 100 से अधिक देशों को क्वालिटी प्रोडक्ट प्रोवाइड करा रहा है. कंपनी दुनिया के टॉप तीन एपीआई निर्माताओं में से एक है, साथ ही हैदराबाद में शीर्ष एपीआई फर्मों में से एक है. Divi's Laboratories डेट फ्री मल्टीबैगर शेयरों में से एक है जिसने लंबे समय में लखपति निवेशकों को करोड़पति में बदल दिया है. आइए आपको भी बताते हैं कि आखिर इस कंपनी ने अपने लखपति निवेशकों को करोड़पति कैसे बना दिया.
Divi's Laboratories Ltd 2003 से दिया 41 फीसदी से ज्यादा रिटर्न
Divi's Laboratories Ltd शुक्रवार को 3,734 रुपये प्रति शेयर पर बंद हुआ, जो पिछले 3,733 रुपये के पिछले बंद से 0.027 फीसदी ऊपर था. शुक्रवार को शेयर में कुल 222,557 शेयरों का कारोबार हुआ. 13 मार्च, 2003 को शेयर की कीमत 9 रुपये से बढ़कर 3,734 रुपये मूल्य पर पहुंच गई है. इसका मतलब है कि इस दौरान कंपनी ने निवेशकों को 41,388.89 फीसदी का रिटर्न दिया है. जोकि काफी अच्छा रिटर्न माना जा सकता है.
इस दौरान दो बार की बोनस शेयर की घोषणा
कई निवेशक लांग टर्म इंवेस्टमेंट में विश्वास रखते हैं, जोकि एक स्मार्ट आॅप्शन भी माना जाता है. वास्तव में इससे किसी भी शेयर से रिटर्न भी काफी अच्छा मिलता है. अगर बात डिविस लैब की करें तो 2003 में कंपनी का शेयर 9 रुपये था, अगर किसी ने एक लाख रुपये का निवेश किया होगा तो निवेशक के पास 11,111 शेयर रहें होंगे. कंपनी ने 30 जुलाई 2009 को पहली बार बोनस शेयर देने की घोषणा की. जोकि 1:1 के अनुपात में थी. इसका मतलब है कि जिस निवेशक के पास 11,111 शेयर थे वो बढ़कर 22,222 हो गई. उसके 6 साल के बाद कंपनी ने फिर 23 जुलाई 2015 को दूसरी बार बोनस शेयर देने का ऐलान किया जोकि 1:1 के अनुपात में था. इसका मतलब ये हुआ कि जिस निवेश के पास 22,222 शेयर थे वो बढ़कर दोगुने यानी 44,444 में हो गए. इसका मतलब है कि 2003 के शुरूआती निवेशकों के पास कंपनी के स्टॉक की संख्या चार गुना बढ़ चुकी थी.
एक लाख रुपये के बन गए 16 करोड़ रुपये से ज्यादा
अब इस कैलकुलेशन को समझने का प्रयास करते हैं कि आखिर एक लाख रुपये का निवेश करीब 19 सालों में 16 करोड़ रुपये का कैसे हो गया? जैसा कि हमने आपको पहले ही बताया है कि 2003 में 9 रुपये के हिसाब से एक लाख रुपये का निवेश करने कंपनी के 11,111 शेयर मिले. जोकि दो बार शेयर बोनस के माध्यम से 44,444 शेयर हो गए थे. अब वो 9 रुपये का शेयर मौजूदा समय में 3,734 रुपये का हो चुका है. जिनकी वैल्यू 16.59 करोड़ रुपये हो चुकी है. इसका मतलब है एक लाख रुपये का निवेश और दो बार बोनस शेयर ने डिविस लैब के निवेशकों को करोड़पति बना दिया है.
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