डीएनए हिंदी: देश में त्योहारी सीजन शुरू हो गया है. अब यह लगभग दो महीने तक चलेगा. इस दो महीने में जहां कारोबारियों की चांदी होने वाली है वहीं आम लोगों के लिए कई समस्याओं से पार पाना मुश्किल हो रहा है. इन्हीं समस्याओं में से एक है दिवाली (Diwali 2022), छठ (Chhath 2022) और दुर्गा पूजा (Durga Puja) के दौरान घर जाने की समस्या. आपको बता दें कि यूपी-बिहार जाने वाली ट्रेनों में वेटिंग लिस्ट लंबी हो गई है तो एयरलाइन कंपनियों ने पिछले तीन साल का रिकॉर्ड तोड़ दिया है. पिछले तीन साल से कोरोना के असर से परेशान एयरलाइन कंपनियां त्योहारी सीजन में भारी मुनाफा कमाने की कोशिश में हैं. इसके लिए एयरलाइन कंपनियों ने टिकटों के दाम आसमान तक बढ़ा दिए हैं. इस समय पटना (Patna), लखनऊ (Lucknow), वाराणसी (Varanasi), रांची (Ranchi), देवघर (Deoghar) और दरभंगा (Darbhanga)जाने वाली उड़ानें काफी महंगी हो गई हैं.
आपको बता दें कि कोरोना काल में केंद्र सरकार ने देश में हवाई किराए की न्यूनतम और अधिकतम सीमा तय की थी. अब सरकार ने इसे हटा दिया है. अब यूपी, बिहार और झारखंड जाने वाली फ्लाइट्स पर हवाई किराये का असर देखने को मिल रहा है.अगर दिल्ली से पटना के हवाई किराए की बात करें तो इसमें सामान्य दिनों के मुकाबले करीब 150 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है. दिल्ली-पटना (Delhi-Patna) ही नहीं, बल्कि दिल्ली-रांची (Delhi-Ranchi), दिल्ली-वाराणसी (Delhi-Varanasi), दिल्ली-दरभंगा (Delhi-Darbhanga) और दिल्ली-देवघर (Delhi-Deoghar) रूट पर भी.
दिल्ली-पटना का एयरफेयर आसमान छू रहा है
गौरतलब है कि कोरोना काल में एयरलाइंस किसी यात्री से 40 मिनट से कम की घरेलू उड़ानों के लिए 2,900 रुपये (GST को छोड़कर) से कम और 8,800 रुपये (GST को छोड़कर) से अधिक शुल्क नहीं ले सकती थी. अब इसकी सीमा हटने के बाद एयरलाइन कंपनियों ने हवाई किराए को आसमान पर पहुंचा दिया है. साथ ही महंगाई के बीच एयरलाइन कंपनियां भी एविएशन टर्बाइन फ्यूल (Aviation Turbine Fuel) से परेशान हैं.
तीन साल पहले हवाई किराया कितना था
इस समय देश के ज्यादातर व्यस्त हवाई मार्गों पर एयरफेयर पिछले कुछ वर्षों की तुलना में उच्चतम स्तर पर पहुंच गया है. फिलहाल दिवाली (Diwali) के आसपास का विमान किराया कोरोना काल से 40 फीसदी ज्यादा है. वहीं अगर साल 2019 से इसकी तुलना करें तो विमान किराया करीब दो से तीन गुना बढ़ गया है.
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