अब दो नहीं तीन बेटियों को मिलेगा Sukanya Samriddhi Yojana का लाभ, होगी अच्छी कमाई

नेहा दुबे | Updated:Oct 04, 2022, 03:15 PM IST

Sukanya Samriddhi Yojana

सुकन्या समृद्धि योजना की ब्याज दरें बैंक एफडी की तुलना में अधिक हैं और अन्य छोटी बचत योजनाओं की तुलना में बेहतर रिटर्न देती हैं.

डीएनए हिंदी: केंद्र सरकार कई छोटी बचत योजनाएं (Sukanya Samriddhi Yojana) चलाती है. देश के कई लोग इन योजनाओं में पैसा इसलिए लगाते हैं क्योंकि इनमें पैसा जहां सुरक्षित होता है वहीं रिटर्न भी अच्छा होता है. छोटी बचत योजनाएं उन लोगों के लिए बहुत उपयोगी होती हैं जो थोड़ा पैसा निवेश करते हैं और भविष्य के लिए एक अच्छा फंड बनाते हैं. ये वे लोग हैं जो एकमुश्त राशि का निवेश नहीं कर सकते हैं. अगर आप भी अपनी बेटी की शादी या उच्च शिक्षा के लिए निवेश करना चाहते हैं तो आपको सुकन्या समृद्धि योजना (SSY) में निवेश करना चाहिए.

सुकन्या समृद्धि योजना की ब्याज दरें बैंक एफडी की तुलना में अधिक हैं और अन्य छोटी बचत योजनाओं की तुलना में बेहतर रिटर्न देती हैं. फिलहाल एसएसवाई में 7.6 फीसदी सालाना ब्याज दिया जा रहा है. इस योजना में सरकार ने कई अहम बदलाव किए हैं.

अब तीन बेटियों का भी खाता खुल जाएगा

अभी तक सुकन्या समृद्धि योजना में आयकर अधिनियम की धारा 80सी के तहत कर छूट का लाभ केवल दो बेटियों के खाते पर ही मिलता था. तीसरी बेटी होने पर कोई टैक्स छूट नहीं थी. लेकिन अब सरकार ने नियम में बदलाव कर तीसरी बेटी के खाते पर टैक्स छूट का ऐलान किया है. अगर एक बेटी के बाद दो जुड़वां बेटियां हैं तो दोनों का भी खाता खुलवाया जा सकता है. यानी तीन बेटियों के नाम एक साथ पैसा जमा किया जा सकता है और उस पर टैक्स छूट का दावा किया जा सकता है.

ब्याज मिलता रहेगा

सुकन्या समृद्धि योजना (Sukanya Samriddhi Yojana) में सालाना न्यूनतम 250 रुपये और अधिकतम 1.5 लाख रुपये जमा किए जा सकते हैं. यदि वर्ष में न्यूनतम राशि जमा नहीं की जाती है तो खाता डिफॉल्ट हो जाता है. पहले खाता डिफॉल्ट होने पर खाता दोबारा सक्रिय नहीं होने तक ब्याज नहीं मिलता था लेकिन अब नियमों में बदलाव किया गया है. अब खाता दोबारा सक्रिय न होने पर भी खाते में जमा राशि पर मैच्योरिटी तक लागू दर पर ब्याज मिलता रहेगा.

सुकन्या समृद्धि योजना (Sukanya Samriddhi Yojana) के खाताधारकों की बेटी 10 वर्ष की आयु पूरी होने पर अपना खाता संचालित कर सकती है. लेकिन अब बेटी को 18 साल की उम्र होने के बाद ही अकाउंट मैनेज करने का अधिकार मिलेगा. इससे पहले बेटी के अभिभावक इस खाते को संचालित कर सकते हैं.

खाता बंद करने के नियमों में बदलाव

पहले नियम था कि बेटी की मृत्यु या पता बदलने पर सुकन्या समृद्धि योजना को बंद किया जा सकता है. अब इसमें भी बदलाव किया गया है. अब खाताधारक को जानलेवा बीमारी होने पर भी खाता बंद किया जा सकता है. इतना ही नहीं अगर अभिभावक की मृत्यु हो जाती है तो मैच्योरिटी से पहले खाता बंद किया जा सकता है.

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