डीएनए हिंदी: बिजली की मांग में रोजाना बढ़ोतरी के कारण लोग अपने बिजली के बिल को कम करने के लिए अपने घरों में छत पर सौर पैनल लगाने की योजना बनाते हैं, लेकिन इसमें ज्यादा लागत लगेगी ऐसा सोचकर कंफ्यूजन में पड़ जाते हैं. देश में सौर पैनल स्थापित करने की लागत वर्तमान में बहुत अधिक है, लेकिन यदि आप सब्सिडी के लिए आवेदन करते हैं, तो यह वित्तीय बोझ कुछ हद तक कम हो सकता है. जो लोग सोलर पैनल लगाना चाहते हैं उन्हें सरकारी सहायता मिल सकती है. भारत सरकार का नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (MNRE) ने रूफटॉप सोलर पैनल के लिए एक नेशनल पोर्टल की शुरुआत की है. इस पोर्टल पर आपको छत पर सौर पैनल स्थापित करने से जुड़ी सभी आवश्यक चीजों के बारे में जानकारी हासिल कर सकते हैं. आप यहां रूफटॉप सोलर पैनल के लिए अप्लाई भी कर सकते हैं. आप कीमत, गुणवत्ता और रखरखाव के बारे में सभी विवरण यहीं इस पोर्टल पर पा सकते हैं. आइए जानते हैं सौर पैनल के लिए कैसे करें आवेदन.
पहला स्टेप: सबसे पहले SANDES ऐप डाउनलोड करें, फिर नेशनल पोर्टल पर साइन अप करें. आप या तो बिजली विभाग या स्थानीय वितरण कंपनी चुन सकते हैं. आपके बिजली कनेक्शन से जुड़ा उपभोक्ता नंबर, अपना ईमेल पता और फोन नंबर दर्ज करें. इसके बाद रजिस्ट्रेशन के लिए ओटीपी आएगा उसे भरें और फिर वेरिफाई करें.
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दूसरा स्टेप: सफलतापूर्वक रजिस्ट्रर करने के बाद, आप अपने घर पर छत पर सौर पैनल स्थापित करने के लिए आवेदन कर सकते हैं. बिजली बिल पर नाम, पता, छत का एरिया और अन्य जानकारी आपको देनी होगी. आपको घर की ज़रूरतों के अनुसार आपको कितनी कैपेसिटी के सौर पैनल चाहिए, कितनी संख्या में चाहिए आदि सब बताना होगी.
तीसरा स्टेप: आपका आवेदन नियमों के अनुसार डिस्कॉम को भेजा जाएगा. आपको अपने आवेदन की स्थिति को लेकर ईमेल अपडेट प्राप्त होंगे. डिस्कॉम की मंजूरी मिलने के बाद आप अपनी छत पर सोलर पैनल लगा सकते हैं. रूफटॉप सोलर सिस्टम स्थापित होने के बाद आवेदक को प्रोजेक्ट के पूरे होने की रिपोर्ट देनी होगी.
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चौथा स्टेप: डिस्कॉम अधिकारी नेट मीटर स्थापित करेंगे और आपकी तकनीक और मानकों का मूल्यांकन करेंगे. नेट मीटर सटीक होने का निर्धारण होने पर डिस्कॉम द्वारा कमीशनिंग सर्टिफिकेट ऑनलाइन तैयार किया जाएगा.
पांचवां स्टेप: इसके बाद आवेदक से बैंक से संबंधी जानकारी ली जाएगी. इसके अलावा एप्लीकेंट को एक कैंसिल चेक भा देना पड़ेगा. फंड की देखरेख करने वाले केंद्र सरकार संगठन द्वारा सब्सिडी सीधे आवेदक के बैंक खाते में ट्रांसफर की जाती है.
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