डीएनए हिंदी: प्याज की कीमतें लगातार बढ़ रही हैं. थोक मंडी में प्याज की कीमतें 90 फीसदी तक बढ़ गई हैं, जबकि रिटेल में यह 55 रुपये प्रति किलोग्राम के पार पहुंच गई है. प्याज की कीमतों में बढ़ोतरी के कई कारण हैं। एक कारण यह है कि प्याज की फसल खराब हुई है. पिछले साल के अंत में, देश में भारी बारिश के कारण प्याज की फसल को नुकसान पहुंचा था. इससे प्याज की आपूर्ति कम हो गई है और मांग बढ़ गई है.
दूसरा कारण यह है कि आयातित प्याज की कीमतें भी बढ़ रही हैं. रूस-यूक्रेन युद्ध के कारण अंतरराष्ट्रीय बाजार में प्याज की कीमतें बढ़ गई हैं. इससे आयातित प्याज की कीमतें भी बढ़ गई हैं.
प्याज की कीमतों में बढ़ोतरी से आम लोगों की जेब पर भारी बोझ पड़ रहा है. प्याज एक आवश्यक खाद्य पदार्थ है और इसका उपयोग कई तरह की सब्जियों और व्यंजनों में किया जाता है.
प्याज की कीमतों को कम करने के लिए सरकार ने कुछ कदम उठाए हैं. सरकार ने प्याज के आयात को बढ़ा दिया है और किसानों को प्याज के बीज और अन्य सहायता प्रदान की है. लेकिन इन उपायों से अभी तक प्याज की कीमतों में कोई खास कमी नहीं आई है.
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यहां कुछ सुझाव दिए गए हैं जो आपको महंगे प्याज से बचने में मदद कर सकते हैं:
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