डीएनए हिंदी: केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए एक बड़ी खबर है. सरकार ने रिटायरमेंट फंड (7th Pay Commission) से जुड़े नियमों में बड़ा बदलाव किया है. सरकार से मिली जानकारी के मुताबिक सामान्य भविष्य निधि के नियमों में बड़ा बदलाव किया गया है. अगर आपके घर में भी कोई सरकारी कर्मचारी है तो उन सभी के लिए एक जरूरी खबर है.
पीएफ
आपको बता दें कि सरकार ने अब जीपीएफ (GPF) में निवेश की सीमा तय कर दी है. प्रोविडेंट फंड में निवेश की सीमा तय कर दी गई है. सरकार के इस फैसले के बाद सरकारी कर्मचारी जीपीएफ में सिर्फ 5 लाख रुपये तक ही जमा कर सकते हैं.
जीपीएफ क्या है?
सरकार से मिली जानकारी के मुताबिक यह सीमा एक वित्तीय वर्ष के लिए निर्धारित की गई है. जीपीएफ एक तरह की स्वैच्छिक योजना है. इस योजना में सरकारी क्षेत्र के कर्मचारी निवेश करते हैं. इसमें निवेश पर 7.1 प्रतिशत ब्याज (जीपीएफ ब्याज दर) का लाभ मिलता है.
सेवानिवृत्ति के समय धन प्राप्त करें
आपको बता दें कि सरकारी कर्मचारी अपने वेतन का एक हिस्सा सामान्य भविष्य निधि में जमा कर सकते हैं और यह पैसा सेवानिवृत्ति के समय खाताधारकों को वापस कर दिया जाता है. जीपीएफ (GPF) में जमा पैसे पर ब्याज मिलता है.
आपको कितना ब्याज मिलता है?
सरकारी कर्मचारी अपने वेतन का 15 प्रतिशत तक योगदान कर सकते हैं. इस खाते की एडवांस फीस सबसे खास होती है. कर्मचारी आवश्यकता पड़ने पर अपने खाते से निश्चित राशि निकाल सकते हैं। इस रकम पर कोई टैक्स नहीं लगता और सरकार ने ब्याज की रकम 7.1 फीसदी तय की है.
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