डीएनए हिंदी: Delhi News- दिल्ली में बिजली सब्सिडी फिर से चर्चा में आ गई है. दिल्ली की आम आदमी पार्टी (Aam Aadmi Party) सरकार ने अपनी सबसे कोर पॉपुलर स्कीम यानी बिजली सब्सिडी को जारी रखने से हाथ खड़े कर दिए हैं. अरविंद केजरीवाल (Arvind Kejriwal) की सरकार ने इसका ठीकरा दिल्ली के उपराज्यपाल वीके सक्सेना पर फोड़ा है. सरकार का आरोप है कि उन्होंने सब्सिडी स्कीम को अगले साल 31 मार्च तक बढ़ा दिया है, लेकिन LG ने इसे मंजूरी नहीं दी है. इसके चलते वह सब्सिडी नहीं दे पाएगी. हालांकि LG वीके सक्सेना ने भी केजरीवाल सरकार पर सब्सिडी की आड़ में घोटाला करने का आरोप लगाया है. हालांकि इतना तय हो गया है कि दिल्ली सरकार और उपराज्यपाल के बीच की इस लड़ाई का असर आम उपभोक्ता के बिजली बिल पर पड़ने जा रहा है. सब्सिडी बंद होने पर हर कस्टमर के बिल में सीधे 600 रुपये बढ़ जाएंगे. आइए जानते हैं कि क्या है दिल्ली सरकार की सब्सिडी स्कीम और यदि यह बंद होती है तो आपका बिल कैसे और कितना प्रभावित होगा.
पहले जान लें दिल्ली में बिजली सप्लाई सिस्टम
दिल्ली में बिजली सप्लाई की जिम्मेदारी दो कंपनियों TPDDL (टाटा पॉवर डिस्ट्रीब्यूशन लिमिटेड) और BSES (BSES राजधानी पॉवर लिमिटेड और BSES यमुना पॉवर लिमिटेड) की है. इनसे होने वाली बिजली सप्लाई के रेगुलेशन और टैरिफ रेट तय करने का काम सरकारी एजेंसी DERC (दिल्ली इलेक्ट्रिसिटी रेगुलेटरी कमीशन) का है.
आप सरकार लाई थी ये सब्सिडी स्कीम
दिल्ली में साल 2019 में आम आदमी पार्टी (AAP) की दोबारा सरकार बनने के बाद आम उपभोक्ता को बिजली बिल में सब्सिडी का तोहफा दिया गया था. इस स्कीम में निम्न तरीके से सब्सिडी दी गई थी.
यह है फिलहाल दिल्ली में 200+ यूनिट पर बिजली टैरिफ
सब्सिडी हटी तो ऐसे आएगा आपका बिल
47 लाख से ज्यादा घर होंगे प्रभावित
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