डीएनए हिंदी: देश के पहले चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (Chief of Defence Staff) जनरल बिपिन रावत की शहादत के 10 महीने बाद सरकार ने इस पद पर नई तैनाती की घोषणा कर दी है. अवकाशप्राप्त लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान (Lt General Anil Chauhan) को नया CDS चुना गया है. देश की सर्वोच्च आर्मी रैंक पर General Bipin Rawat का उत्तराधिकारी तय करने में इतना लंबा समय लगने को लेकर सवाल उठते रहे हैं, लेकिन इस देरी के पीछे तीनों सेनाओं के मुखिया की जिम्मेदारी संभालने वाले इस पद पर चयन की बेहद जटिल प्रक्रिया को जिम्मेदार माना जा सकता है. आइए जानते हैं क्या है CDS के पद पर नियुक्ति के लिए योग्यता नियम और कैसे पूरी की जाती है चयन प्रक्रिया.
पढ़ें- केंद्र सरकार ने किया नए चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ का ऐलान, जानिए कौन हैं लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान
पहले जानिए क्या होता है चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ
- यह भारतीय सेना, नौसेना व वायुसेना में किसी ऑफिसर की सर्वोच्च रैंक है.
- चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ को तीनों सेनाओं के चीफ रिपोर्ट करते हैं.
- CDS की भूमिका रक्षा मंत्रालय के मुख्य रक्षा सलाहकार की भी होती है.
- CDS रक्षा मंत्रालय के सैन्य मामले विभाग में सचिव की भूमिका भी निभाता है.
- देश में पहली बार 1 जनवरी, 2020 को CDS का पद सृजित किया गया था.
- तत्कालीन भारतीय सेनाप्रमुख जनरल बिपिन रावत पहले CDS चुने गए थे.
- जनरल बिपिन रावत का दिसंबर, 2021 में हेलिकॉप्टर क्रैश में निधन हो गया था.
पढ़ें- PFI पर बैन से पहले नरेंद्र मोदी सरकार ने मुस्लिम संगठनों से ली सलाह? जानिए कैसे बना प्लान
अब जानते हैं इस पद पर तैनाती की योग्यता
केंद्रीय रक्षा मंत्रालय (Ministry of Defence) ने इस साल 6 जून को तीन नोटिफिकेशन जारी किए थे. इनमें भारतीय सेना (Indian Army), भारतीय वायुसेना (Indian AirForce) और भारतीय नौसेना (Indian Navy) के सर्विस रूल्स (Army Service Rules) लिए एक-एक नोटिफिकेशन था. इन नोटिफिकेशंस में MoD ने भारतीय सेनाओं के CDS के तौर पर नियुक्ति के लिए तीनों सेनाओं के किसी भी जनरल की आवश्यक योग्यता का ब्योरा तय किया था. इसमें तैनाती के लिए आवश्यक प्रोफेशनल क्वालिफिकेशंस के साथ ही उम्र की सीमा भी उस अधिकारी की संबंधित फोर्स के हिसाब से तय की गई थी.
पढ़ें- PFI संगठन खत्म!, सरकारी बैन के बाद केरल के महासचिव ने कर दी घोषणा, गिरफ्तार
दो योग्यताएं मानी गई थीं अनिवार्य
CDS के तौर पर तैनाती के लिए किसी भी मिलिट्री जनरल में दो योग्यताएं होना अनिवार्य माना गया था. ये दोनों योग्यताएं भारतीय सेना, वायुसेना व नौसेना, तीनों के ही अधिकारियों पर समान रूप से लागू होंगी. ये दोनों योग्यता निम्न हैं-
- कोई भी अधिकारी चाहे वह सेवारत हो या अवकाशप्राप्त, उसे जनरल या कम से कम लेफ्टिनेंट जनरल रैंक का होना चाहिए.
- नियुक्ति के समय अधिकारी की आयु 62 साल से कम होनी चाहिए. केंद्र सरकार चाहे तो उसका कार्यकाल 65 साल की उम्र तक बढ़ा सकती है.
पढ़ें- देश के नए अटॉर्नी जनरल बने R Venkataramani, केके वेणुगोपाल की लेंगे जगह
60 साल की उम्र में रिटायर हो जाते हैं अधिकारी
इस नोटिफिकेशन में 62 साल से कम उम्र होने का मानक सेना के सभी जनरल-लेफ्टिनेंट जनरल, नौसेना के नेवी एडमिरल-वाइस एडमिरल और वायुसेना के एयरचीफ मार्शल-एयर मार्शल पूरा कर सकते हैं, क्योंकि सेना के तीनों विंग में किसी भी अधिकारी के रिटायरमेंट की आयु 60 साल तय है.
सैन्य जनरल ही नहीं 3 स्टार ऑफिसर्स भी बने दावेदार
सरकार ने योग्यता नियमों में ये बदलाव कर CDS पद के दावेदारों का दायरा बेहद बड़ा कर दिया था. इससे सेना की तीनों विंग्स के चीफ ही नहीं बल्कि उनके नीचे काम कर रहे 3 स्टार ऑफिसर्स भी दावेदार बना दिए. साथ ही एक तय समय के दौरान रिटायर हुए जनरल या लेफ्टिनेंट जनरल को भी इस पद पर तैनात करने की राह खुल गई.
इससे पड़ने वाले प्रभाव का अंदाजा ऐसे लगाया जा सकता है कि बुधवार को CDS बनाए गए लेफ्टिनेंट जनरल अनिल चौहान पिछले साल 31 मई को ही रिटायर हो चुके थे. उनका चयन आर्मी चीफ जनरल मनोज पांडे (General Manoj Pandey), वायुसेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल वीएस चौधरी (Air Chief Marshal VR Chaudhari) और नौसेना प्रमुख एडमिरल आर. हरिकुमार (Admiral R Hari Kumar) समेत अकेले भारतीय सेना के ही 14 वर्तमान व रिटायर अधिकारियों की दावेदारी के बीच किया गया है.
देश-दुनिया की ताज़ा खबरों Latest News पर अलग नज़रिया, अब हिंदी में Hindi News पढ़ने के लिए फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगल, फ़ेसबुक, ट्विटर और इंस्टाग्राम पर.