Tomato Flu Kerala: क्या होता है टोमैटो फीवर, केरल के बच्चे क्यों हो रहे इसके शिकार?

Written By अभिषेक शुक्ल | Updated: May 12, 2022, 07:14 PM IST

टोमैटो फीवर संक्रमण का असर बच्चों में ज्यादा देखने को मिल रहा है.

Tomato Flu के क्या हैं लक्षण, किस वजह से होता है यह फ्लू और क्या सावधानियां बरतनी जरूरी हैं. जानें सबकुछ.

डीएनए हिंदी: देश में अभी कोविड (Covid-19) महामारी अभी थमी नहीं कि टोमैटो फ्लू (Tomato Flu) नाम की एक नई बीमारी ने दस्तक दे दी है. टोमैटो फ्लू के बढ़ते मामले अब चिंता बढ़ा रहे हैं. इस फ्लू का असर सबसे ज्यादा बच्चों में देखने को मिल रहा है. केरल के बच्चों में यह संक्रमण ज्यादा फैल रहा है.

केरल में 80 से ज्यादा बच्चे टोमैटो फ्लू की चपेट में आ चुके हैं. स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि Tomato flu के मामले ज्यादा बढ़ सकते हैं. टोमैटो फ्लू क्या है, क्यों लोग टोमटो फ्लू की चपेट में आ रहे हैं, क्यों इसका नाम टोमौटो फ्लू पड़ा है और इसका ट्रीटमेंट कैसे किया जा सकता है, आइए समझते हैं.

क्या है टोमैटो फ्लू?

टोमैटो फ्लू (Tomato Flu) एक अनजान फीवर (Fever) है. यह केरल में पांच साल से कम उम्र के बच्चों में पाया गया है. फ्लू से संक्रमित बच्चों के शरीर पर चकत्ते और छाले नजर आ रहे हैं. देखने में लाल-लाल दाने जैसे फोड़े शरीर पर निकल रहे हैं. यही वजह है कि इसे टोमैटो फीवर कहा जा रहा है. 

क्या है टोमैटो फ्लू के लक्षण?

चाइल्ड स्पेशलिस्ट डॉक्टर विनय मिश्र के मुताबिक टोमैटो फ्लू से संक्रमित लोगों को पहले बुखार होता है फिर त्वचा पर दाने पड़ने लगते हैं. उन्हें खुजली होने लगती है. कुछ मरीजों में डिहाइड्रेशन (Dehydration) के लक्षण भी सामने आए हैं. कुछ मरीजों ने थकान, घुटने में दर्द, पेट में दर्द, डायरिया और कफ की परेशानियां भी बताई हैं. कुछ मरीजों में नाक बहने के भी लक्षण देखे गए हैं. ज्यादातर मरीज तेज बुखार की समस्या से जूझ रहे हैं.

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क्या है टोमैटो फीवर का इलाज?

टोमैटो फीवर भी बेहद संक्रामक साबित हुआ है. हेल्थ एक्सपर्ट्स का सुझाव है टोमैटो फ्लू से संक्रमित मरीजों को तत्काल आइसोलेट (Isolation) कर दिया जाए. टोमैटो फ्लू बेहद संक्रामक है ऐसे में लोगों को सलाह दी गई है कि वह संक्रमण रोकने के सभी उपाय अपनाएं.
 
टोमैटो फ्लू से संक्रमित मरीज क्या न करें?

डॉक्टर विनय मिश्र के मुताबिक टोमैटो फ्लू से सबसे ज्यादा बच्चे संक्रमित हो रहे हैं. संक्रमण की वजह से लोगों में खुजली से ज्यादा परेशान होते हैं. बच्चे परेशान होकर शरीर पर उभरे दानों को फोड़ने लगते हैं. पेरेंट्स को चाहिए ऐसा न करने दें. बच्चे साफ कपड़े पहनें और संक्रमित व्यक्ति को अलग कमरे में रखा जाए. कमरों को हर बार सैनिटाइज कर दिया जाए. 

टोमैटो फ्लू से संक्रमित लोग क्या करें?

स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि जो लोग टोमौटो फ्लू की चपेट में आ रहे हैं वे डिहाइड्रेशन का भी शिकार हो रहे हैं. ऐसे में डिहाइड्रेशन से बचने के लिए ज्यादा से ज्यादा पानी पीएं. जैसे ही टोमैटो फ्लू के लक्षण सामने आएं तत्काल अपने डॉक्टर को दिखाएं. 

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केरल में ही क्यों टोमैटो फीवर के शिकार हो रहे हैं बच्चे?

टोमैटो फ्लू के मामले अभी तक सिर्फ केरल के कुछ हिस्सों में सामने आए हैं. शुरुआती संक्रमण यहीं फैला है, इसी वजह से संक्रमण के शिकार भी स्थानीय लोग हो रहे हैं. इसे टोमैटो फीवर (Tomato Fever) भी कहा जा रहा है. स्वास्थ्य विशेषज्ञों का कहना है कि अगर संक्रमण की रोकथाम के लिए जल्द कोशिश नहीं की जाती है तो यह फ्लू और ज्यादा फैल सकता है. यह फ्लू भी बेहद संक्रामक है.

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