'बिना इयरफोन ना देखें ये वेब सारीज', भाषा और सेक्सुअल कंटेंट पर Delhi High Court ने लगाई फटकार

Written By डीएनए हिंदी वेब डेस्क | Updated: Mar 07, 2023, 10:07 PM IST

Delhi High Court On Web Series College Romance: वेब सीरीज कॉलेज रोमांस

TVF की मशहूर वेब सीरीज के खिलाफ केस की सुनवाई करते हुए Delhi High Court ने कड़ा रिएक्शन दिया है. इसके साथ ही कानूनी कार्रवाई के आदेश दिए हैं.

डीएनए हिंदी: वेब सीरीज 'कॉलेज रोमांस' (College Romance) हाल ही में एक बार फिर से सुर्खियों में आ गई है. कॉलेज स्टूडेंट्स पर आधारित इस वेब सीरीज पर दिल्ली हाईकोर्ट में ऐसा कड़ा रिएक्शन दिया है, जिसके बारे में सुनकर आप हैरान रह जाएंगे. दिल्ली हाईकोर्ट ने इस वेब सीरीज में इस्तेमाल की गई सेक्सुअली रूप से अभद्र भाषा प्रभावशाली दिमागों को भ्रष्ट कर सकती है क्योंकि ये सीरीज व्यापक रूप से उपलब्ध है. कोर्ट ने ये टिप्पणी, इस वेब सीरीज को रिलीज करने वाले प्लैटफॉर्म और इसके एक्टर्स के खिलाफ दर्ज कराए गए केस की सुनवाई के दौरान की है.

TVF की वेब सीरीज College Romance

वेब सीरीज 'कॉलेज रोमांस' ओटीटी प्लैटफॉर्म TVF पर रिलीज की गई है. हाईकोर्ट का कहना है कि इस सीरीज में अश्लील, भड़काने वाले और फूहड़ कंटेट का इस्तेमाल किया गया है. इसके साथ ही सरकार से ऐसे प्लेटफॉर्म पर भाषा की जांच के लिए कदम उठाने के लिए भी आग्रह किया गया है.

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Sexual Content पर उठाए सवाल

न्यायमूर्ति स्वर्ण कांता शर्मा ने कहा, 'इस वेब सीरीज में इस्तेमाल की गई भाषा की अश्लीलता और यौन मुखरता की शक्ति को कम नहीं आंका जा सकता है और इसका लोगों के दिमाग, विशेष रूप से प्रभावशाली दिमागों को दूषित होने का खतरा है'. जज ने कहा कि उन्हें भाषा इतनी अश्लील लगी कि उन्हें एपिसोड देखने के लिए ईयरफोन का इस्तेमाल करना पड़ा.

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इस वेब सीरीज को देखने के लिए Use Earphone

अदालत के फैसले में कहा गया कि 'अदालत को चेंबर में ईयरफोन का इस्तेमाल करके ही एपिसोड देखना पड़ा, क्योंकि इसकी भाषा की अभद्रता इस हद तक थी कि इसे आसपास के लोगों को चौंकाने या भयभीत किए बिना नहीं सुना जा सकता था'. अदालत ने कहा कि 'यह वो भाषा नहीं है जिसे देश के युवा या इस देश के नागरिक उपयोग करते हैं, और इस भाषा को हमारे देश में आम तौर पर बोली जाने वाली भाषा नहीं कहा जा सकता है'.

कानूनी कार्रवाई के आदेश

न्यायाधीश ने कहा कि सीरीज के निर्माताओं को धारा 67 के तहत कार्रवाई का सामना करना होगा जो सेक्शुल कंटेंट से संबंधित है और 67 (ए) यौन रूप से मुखर कंटेंट को प्रकाशित करने या फैलाने से संबंधित है लेकिन प्राथमिकी दर्ज करने के निर्देश में किसी को गिरफ्तार करने का निर्देश शामिल नहीं है. बता दें कि TFV की इस सीरीज के खिलाफ 17 सितंबर 2019 को FIR दर्ज करवाई गई थी.

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