डीएनए हिंदीः खून में वसा (Fat In Blood), शुगर (Blood Sugar) और यूरिक एसिड (Uric Acid) का रहना शरीर को कई रोग देता है. हाई ब्लड शुगर यानी डायबिटीज (Diabetes), हाई कोलेस्ट्रॉल (High Cholesterol) और आर्थराइटिस (Arthritis) यानी जोड़ों में दर्द (Joint Pain) का कारण खून में गंदगी का जमना (Accumulation of Dirt in Blood) है. जब ब्लड में इंसुलिन एक्टिवेट ( Insulin Activation) नहीं होता है तो शुगर बढ़ती है और जब ऑयली और जंक फूड अधिक लिया जाता है तो ब्लड में वसा जमती (Fat Deposit in Blood) है. इन सब के साथ ही जब किडनी सही तरीके से फिल्टरेशन नहीं करती तो ब्लड में यूरिक एसिड बढ़ता है.
बता दें कि ब्लड में इन सारी ही समस्याओं की जड़ असल में हमारा खानपान ही होता है. आरामतलबी और खराब लाइपफस्टाइल इन बीमारियों को और बढ़ाती हैं. अगर आप इन तीन बीमारियों से जूझ रहे तो आपको अपने खानपान पर नियंत्रण रखकर ही इसे काबूत में भी करना होगा. आज आपको यहां कुछ ऐसी आयुर्वेदिक पत्तियों के बारे में बताने जा रहे हैं जिन्हें आपने कच्चा सुबह खाली पेट चबा लिया तो आपकी ब्लड से जुड़ी कई गंभीर बीमारियां आसानी से काबू में आ जाएंगी.
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इन पत्तियों में नेचुरल इंसुलिन, फैट गलाने की शक्ति और ब्लड को साफ करने का गुण
गुड़मार (Gurmar)
गुड़मार ऐसी पत्ती है जो आपके टेस्ट बड यानी जीभ को शुगर का टेस्ट महसूस नहीं होने देती. हालांकि ये खुद मीठी होती है लेकिन ब्लड शुगर को कम करने में ये नेचुरल इंसुलिन की तरह काम करती है. इसे खाने के बाद मिठास का अहसास नहीं होता है और खास बात ये कि ये मीठे की तलब को खत्म करती है. तो डायबिटीज के मरीजों को इससे अच्छा औश्र क्या होगा. यही नहीं ये ब्लड प्यूरिफायर भी होती है. रोज सुबह आप एक मुठ्ठी इसक पत्तियों चबा लें तो आपकी ब्लड रिलेटेड बीमारियां दूर होने लगेंगी. ये इंसुलिन के स्राव और सेल रीजनरेशन पर भी काम करती है.
करी पत्ता (Curry Leaves)
अध्ययनों के अनुसार करी पत्ता यानी मीठी नीम आपके रक्त में कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम करता है. यह मुक्त कणों द्वारा कोलेस्ट्रॉल ऑक्सीकरण को रोककर एलडीएल कोलेस्ट्रॉल या खराब कोलेस्ट्रॉल के निर्माण को रोकता है. यह एचडीएल या अच्छे कोलेस्ट्रॉल के स्तर को बढ़ाने में मदद करता है. करी पत्ता का अर्क उच्च कोलेस्ट्रॉल और ट्राइग्लिसराइड के स्तर को कम करने में दवा की तरह काम करता है. वहीं डायबिटीज में भी ये नेचुरल इंसुलीन का काम करता है.बीटा-कैरोटीन और विटामिन सी जैसे एंटीऑक्सिडेंट से भरपूर होने के कारण से ब्लड में शुगर बढ़ने से रोकता है.
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मोरिंगा यानी सहजन के पत्ते (Moringa Leaves)
मोरिंगा के पत्ते या इसके रस में शक्तिशाली एंटीऑक्सिडेंट होता है जो हार्ट से लेकर डायबिटीज तक के लिए फायदेमंद होता है. मोरिंगा के पत्तों में क्वेरसेटिन होता है जो ऐसा एंटीऑक्सिडेंट होता जो रक्तचाप को कम करने के साथ ही ब्लड में वसा को पिधलाने और शुगर को अवशोषण को रोकता है. इसमें मौजूद एंटीऑक्सिडेंट क्लोरोजेनिक एसिड है ब्लड शुगर को कंट्रोल करने में दवा का काम करता है. मोरिंगा में पाया जाने वाला क्लोरोजेनिक एसिड इंसुलिन को भी प्रभावित करता है. तो बिना देरी किए इसे रोज चबा चबा कर खाएं. ये स्वादिष्ट भी होती हैं.
पान का पत्ता (Betel Leaves )
डायबिटीज से लेकर वजन कम करने तक में पान के पत्ते फायदेमंद होते हैं. इन पत्तों के सेवन से सिर के दर्द से भी छुटकारा मिलता है. पान के पत्तों को कच्चा चबाएं या फिर इन्हें पानी में उबालकर स्वाद के लिए हल्का शहद डालकर भी पिया जा सकता है. इन पत्तो में कैल्शियम, विटामिन सी, थियामिन और नियासिन की अच्छी मात्रा पायी जाती हैं.
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धनिया और पुदीना (Coriander and Mint)
धनिया और पुदीना में क्लोरोफिल से भरपूर होते हैं और ये पाचन में सहायता करते हैं और फाइबर रिच होते हैं जो काफी मात्रा में कोलेस्ट्रॉल और ब्लड शुगर को कम कर सकते हैं.
(Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें.)
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