डीएनए हिंदीः आज एक ऐसे पत्ते के बारे में आपको बताएंगे जो भगवान शिव का प्रिय है और डायबिटीज वालों के लिए अमृत. इस पत्ते के रस में ऐसे गुण हैं जो डायबिटीज की दवा में होते हैं. ये पत्ता है बेल पत्र (Bael leaves for diabetes) और इसके सेवन से शुगर को कम करना बेहद आसान हो जाता है.
आयुर्वेद में बेल की पत्तियों से लेकर उसकी जड़, छाल, फल, बीज तक का औषधिय प्रयोग होता है. बेल के पत्ते कई गंभीर बीमारियों में काम आते हैं, जैसे- स्किन डिजीज, टाइफाइड, पेट दर्द, अल्सर . बेल की पत्तियों में विटामिन ए, विटामिन बी-1, विटामिन बी-2, विटामिन सी, बीटा कैरोटीन, आयरन, फॉस्फोरस, एमिनो एसिड, कैल्शियम भी मौजूद होते हैं.
इंटरनेशनल जर्नल ऑफ रिसर्च इन आयुर्वेदा एंड फार्मेसी की एक रिपोर्ट के अनुसार बेल और बेल की पत्तियाें में औषधीय गुण बहुत अधिक होते हैं. विटामिन, मिनरल्स और कई एंटीऑक्सीडेंट की उपस्थिति के कारण यह एंटी डायबिटिक, एंटीहिस्टामिन, रेडियो प्रोटेक्टिव, एंटी कैंसर, कार्डियो प्रोटेक्टिव, एंटी इन्फ्लेमेटरी, एंटीमाइक्रोबियल और एंटीवायरल भी है. इसलिए यह ब्लड शुगर कंट्रोल करने के साथ-साथ पाचन तंत्र की समस्याओं और आंखों के स्वास्थ्य के लिए भी खाया जाता है.
एंटी डायबिटिक है
इंटरनेशनल जर्नल ऑफ रिसर्च इन आयुर्वेदा एंड फार्मेसी की रिपोर्ट के मुताबिक बेल के पत्ते इंसुलिन प्रोडक्शन में मदद कर सकते हैं, जो ब्लड शुगर लेवल को कंट्रोल करते हैं. इसमें स्ट्रांग फाइटोकेमिकल्स भी पाए जाते हैं. यह लिपिड, कोलेस्ट्रॉल और ऑक्सीडेटिव टेंशन लेवल को भी कम कर देता है. इससे ब्लड शुगर लेवल कंट्रोल में रहता है.
बेल के पत्तों का एंटी ऑक्सीडेटिव एलिमेंट सेल डैमेज से भी बचाव करता है. यह फ्री रेडिकल्स को भी खत्म करता है. आयरन से भरपूर होने के कारण बेल के पत्तों के रोजाना सेवन से खून की कमी की समस्या भी दूर होती है और आप एनर्जेटिक फील करती हैं.
इस तरह से खाना कर देगा शुगर कम
रोज सुबह खाली पेट 3-4 बेल के पत्ते चबाकर खा लें या इसका रस पी लें. आप इसमें चार या पांच काली मिर्च, तुलसी पत्ते को भी मिक्स कर लें. इससे ब्लड शुगर और कॉलेस्ट्रॉल दोनों कंट्रोल होंगे.
(Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें.)
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