डीएनए हिंदीः अगर आप डायबिटीज के मरीज हैं और आपका ब्लड शुगर हमेशा ही हाई रहता है तो आपको न केवल किडनी की खराबी का खतरा होगा, बल्कि इससे पित्ताश्य यानी गॉल ब्लैडर में पथरी होने का खतरा भी बना रहेगा. डायबिटीज रोगियों में किडनी और पित्ताश्य दोनों ही जगह पथरी का खतरा बराबर बना होता है.
इसलिए अगर आपको पेट या कंधे के किसी खास हिस्से में बार-बार दर्द होने के साथ कुछ अन्य लक्षण नजर आ रहे तो समझ लें कि आपके पित्ताश्य में पथरी बन रही है. अगर आप डायबिटीज के मरीज है तो आपको अपने पित्ताशय यानी गॉल ब्लैडर का खास ख्याल रखना होगा, क्योंकि हाई ब्लड शुगर में गॉल ब्लैडर की पथरी होने की संभावना भी ज्यादा होती है. हालांकि डायबिटीज रोगियों के किडनी में भी पथरी की संभावना उतरी ही अधिक होती है.
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पित्त की थैली में होने वाली पथरी कई समस्याएं पैदा करती है. पथरी की समस्या आंतों की शिथिलता, मोटापा और हाइपरट्रिग्लिसराइडिमिया वाले लोगों में भी होती हैं. इन लोगों में किडनी में स्टोन ज्यादा होता है. हालांकि डायबिटीज रोगियों को दोनों ही जगह पथरी की संभावना बराबर होती है. खासकर अगर आप टाइप 2 डायबिटीज के मरीज हैं तो आपको ये जोखिम ज्यादा होगा.
मार्च 2016 में प्रकाशित एक मेटा-विश्लेषण की रिपोर्ट बताती है कि डायबिटीज पीड़ित लोगों में पित्ताशय की बीमारी का जोखिम बहुत होता है. चलिए जानें कि कैसे डायबिटीज रोगियों को पित्ताशय की समस्या ज्यादा होती है.
पित्ताशय की थैली का स्वास्थ्य आमतौर पर मधुमेह और इंसुलिन प्रतिरोध से प्रभावित होता है. पित्ताशय की बीमारी के लिए प्रमुख जोखिम कारकों में से एक मोटापा होता है जो टाइप-2 डायबिटीज रोगियों में अधिक आम है. मोटापा पित्त के कोलेस्ट्रॉल के उत्पादन को बढ़ाता है. जो पित्ताशय की थैली में बन सकता है और अंत में पित्त की पथरी बनने लगती है.
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इसके अतिरिक्त ट्राइग्लिसराइड्स एक प्रकार की वसा है, जो पित्त पथरी के विकास को बढ़ावा देता है और डायबिटीज रोगियों में ये काफी मात्रा में शरीर में जमा होता है. इसलिए अगर आप डायबिटीज के मरीज हैं तो आपको पित्ताशय की थैली की समस्याओं को रोकने के लिए अपने ब्लड शुगर को कंट्रोल रखें.
पित्ताशय की थैली की खराबी के लक्षण
पेट के दाहिने ऊपरी हिस्से में दर्द जो अचानक हो और कई घंटों तक बना रहेऔर बिना कारण उल्टी या जी मिचलाना तो ये लक्षण पित्ताशय की थैली की खराबी के हो सकते हैं. साथ ही दाहिने कंधे की तकलीफ या कंधे के ब्लेड के नीचे दर्द बना रहे तो ये पित्ताशय की थैली की खराबी का संकेत है.
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नोटः अगर गॉल ब्लैडर में समस्या हो या पथरी हो गई हो तो उसकी सर्जरी की जाती है लेकिन डायबिटीज या हाई ब्लड शुगर में सर्जरी करना बेहद जोखिम भरा होता है. इसलिए डायबिटीज को कंट्रोल में रखकर ही इस समस्या को होने से रोका जा सकता है.
Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें.)
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