डीएनए हिंदी: Reason for Sleeplessness at Night - आजकल खराब जीवनशैली के कारण लोगों को रात में नींद न आने या बेचैनी की समस्या होने लगती है. हालांकि कई लोग इस समस्या को गंभीरता से नहीं लेते है. लेकिन रात को नींद न आना बड़ी समस्या बन सकती है. इसकी वजह से गंभीर बीमारियों का सामना करना पड़ सकता है. बता दें कि ये समस्या (Tips For Better Sleep) अगर ज्यादा दिनों तक रहे तो ये हाई बीपी, दिल की बीमीरी, मानसिक बीमारी की तरफ बढ़ सकती है. ऐसे में आपको रात में नींद न आने का कारण जरूर पता होना चाहिए. ताकि समय रहते आप इसका निवारण कर इस (Sleeplessness At Night) समस्या से छुटकारा पा सकें. आइए जानते हैं कि रात में नींद न आने का कारण क्या हो सकता है और इससे कैसे बचाव कर सकते हैं..
हार्मोनल डिसबैलेंस के कारण
बता दें कि हार्मोनल डिसबैलेंस के कारण भी आपको सोते समय बेचैनी हो सकती है. खासतौर से महिलाओं में क्योंकि गर्भावस्था से लेकर रजोनिवृत्ति तक, महिलाओं के हार्मोन नींद की गुणवत्ता में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं और इसके कारण महिलाओं को रात को पसीना, पेशाब आना और नींद ना आने की समस्या होती है. बता दें कि ये गड़बड़ी अक्सर रात के पहले पहर में होती है जब महिलाएं सोने की कोशिश कर रही होती हैं.
ज्यादा सोचने के कारण
ज्यादा सोचने की आदत के कारण भी आपको रात में बेचैनी होती है. इससे आपका दिमाग शांत नहीं होता और लगातार जगा रहा रहता है. ऐसे में आप सो नहीं पाते और आपको रात भर बेचैनी महसूस होती है. इसलिए आपको कुछ ऐसा करना होगा जिससे आपका दिमाग शांत हो जाए और आप सो सकें.
स्लीप एपनिया के कारण
इसके अलावा जिन लोगों में स्लीप एपनिया होता है वो रात में आराम से सो नहीं पाते या फिर उनकी नींद टूटती रहती है. अगर आप वजन कम करने, अपने आहार में बदलाव करने और अधिक व्यायाम करने से स्लीप एपनिया का सफलतापूर्वक इलाज किया जा सकता है. इससे आपको रात में बेचैनी नहीं होगी.
एक्सरसाइज करें कम
दिन में ज्यादा थक जाना या फिर बहुत ज्यादा एक्सरसाइज करना भी रात में बेचैनी का कारण बनता है और इससे पैरों में दर्द हो सकता है या फिर शरीर ओवरएक्टिव हो जाता है. इसलिए ध्यान रखें कि उन्हीं शारीरिक गतिविधियां को करें जो कि हल्के हो और उसे सोने से पहले एक अच्छे खासा गैप में करें.
रूटीन सही न होने के कारण
बता दें कि खराब लाइफस्टाइल के कारण शरीर की आंतरिक घड़ी या सर्कैडियन लय बिगड़ने लगती है. ऐसे में जब भी आप रात में सोने जाते हैं तो आपको नींद नहीं आती और बेचैनी महसूस होती है. बता दें कि ये समस्या शिफ्ट में काम करने वाले लोगों को भी होती है, इसके अलावा जिनमें मेलाटोनिन और सेरोटोनिन का बैलेंस बिगड़ जाता है.
(Disclaimer: हमारा लेख केवल जानकारी प्रदान करने के लिए है. अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ से परामर्श करें.)
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