DNA Live Updates: सरकार ने 40% किया Risk Allownce, NDRF के 16,000 जवानों को मिला तोहफा
DNA Live Updates: 18वीं लोकसभा का पहला संसदीय सत्र चल रहा है. पेपर लीक के मुद्दे पर पहले दिन जमकर हंगामा हुआ है. उधर, दिल्ली एयरपोर्ट पर हुआ हादसा भी सरकार की मुश्किल बढ़ा गया है. इस बीच देश-दुनिया में आज क्या हलचल हो रही है, ये जानने के लिए पढ़ते रहिए लाइव अपडेट्स.
DNA Live Updates: संसद सत्र की शुरुआत ही हंगामों के साथ हुई है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार के लिए NEET Paper Leak का मुद्दा मुश्किल खड़ी कर रहा है, जिस पर विपक्षी दल उसे घेरने से चूकने को तैयार नहीं है. यह मुद्दा पूरे संसद सत्र के दौरान मुश्किल पैदा करेगा. उधर, देश के बाकी इलाकों में भी राजनीतिक सरगर्मी बढ़ रही है. एकतरफ, पश्चिमी बंगाल में राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के खिलाफ हाई कोर्ट में मानहानि का केस दाखिल कराया है, जो ऐतिहासिक कदम माना जा रहा है. दूसरी तरफ, मणिपुर में पिछले एक साल में जातीय हिंसा पर काबू पाने में असफल रहे मुख्यमंत्री बीरेन सिंह के खिलाफ उनकी ही सरकार में विद्रोह की खबर सामने आ रही है. इस बीच देश-दुनिया में आज (29 जून) क्या हलचल हो रही है, ये जानने के लिए पढ़ते रहिए Live Updates-
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लंबे समय से हो रही थी मांग, सरकार ने NDRF को दिया 40% Risk Allownce का तोहफा
ऊंचे पहाड़ हों या गहरे समुद्र, हर जगह अपनी जान दांव पर लगाने वाले राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (NDRF) को केंद्र सरकार ने तोहफा दिया है. केंद्र सरकार ने NDRF जवानों को 40% की दर से रिस्क एंड हार्डशिप अलाउंस (Risk and Hardship Allowance) देने की मंजूरी दी है. इसका लाभ NDRF के 16,000 जवानों को मिलेगा. इस बात की जानकारी केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शनिवार को NDRF की टीम को दूसरे माउंटेनियरिंग एक्सपीडिशन 'VIJAY' के लिए रवाना करते समय सभी को दी. NDRF के जवान इस भत्ते की लंबे समय से मांग कर रहे थे. शाह ने यह भी कहा कि केंद्रीय अतिरिक्त पुलिस बलों (CAPF) की टीम अब सभी तरह के नेशनल और इंटरनेशनल आउटडोर व इंडोर गेम्स में भाग लिया करेगी. इसके लिए जल्द ही पूरा रोडमैप तैयार करने के बाद सभी के साथ साझा किया जाएगा.
Mamata Banerjee पर मानहानि का केस, पहली बार CM के खिलाफ कोर्ट पहुंचा कोई राज्यपाल
पश्चिम बंगाल में राज्यपाल और मुख्यमंत्री के बीच की खींचतान हाई कोर्ट पहुंच गई है. राज्यपाल सीवी आनंद बोस ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के खिलाफ कलकत्ता हाई कोर्ट (Calcutta High Court) में मुकदमा दाखिल किया है. शुक्रवार को दाखिल मुकदमे में राज्यपाल ने मुख्यमंत्री पर मानहानि का आरोप लगाया है. PTI ने राजभवन के सूत्रों के हवाले से बताया है कि राज्यपाल ने हाई कोर्ट से कहा है कि ममता बनर्जी की गुरुवार को गई टिप्पणी से उनकी मानहानि हुई है. ममता बनर्जी ने कहा था कि महिलाओं ने उनसे शिकायत की है कि वे राजभवन में हालिया घटनाओं के कारण वहां जाने से डरती हैं. राज्यपाल ने इस टिप्पणी को 'गलत और बदनामी वाली धारणा' बनाने का आरोप लगाया है. बता दें कि राजभवन की एक संविदा महिला कर्मचारी ने दो मई को राज्यपाल बोस पर छेड़छाड़ का आरोप लगाया था. इस मामले की जांच कोलकाता पुलिस कर रही है.
PM Modi ने शुरू किया सरकार के पहले 100 दिन के एजेंडे पर काम, आज होगी खास बैठक
संसद में भले ही केंद्र सरकार को विपक्षी दलों के हंगामे का सामना करना पड़ रहा है, लेकिन इसके बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पूरे ध्यान सरकार के पहले 100 दिन के एजेंडे पर फोकस कर दिया है. इसके लिए पीएम मोदी अपनी कैबिनेट के साथ खास मीटिंग पहले ही कर चुके हैं. आज (शनिवार 29 जून) को उन्होंने सभी केंद्रीय विभागों के सचिवों को तलब किया हुआ है. इन सभी सचिवों के साथ पीएम मोदी एक खास मीटिंग करेंगे, जिसमें सरकार के 100 दिन के एजेंडे पर चर्चा की जाएगी. इस चर्चा में तय होने वाली बातों के आधार पर आगामी पूर्ण बजट का खाका खींचा जाएगा, जो मोदी सरकार अगले महीने पेश कर सकती है.
Manipur के विधायक पहुंचे दिल्ली, सीएम बीरेन सिंह बोले- इस्तीफा नहीं दे रहा
पिछले एक साल से कुकी-मैतेयी जातीय हिंसा से जूझ रहे मणिपुर में राजनीतिक सरगर्मी बढ़ गई है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सत्ताधारी गठबंधन के कुछ विधायक दिल्ली पहुंचे हुए हैं. ये विधायक मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह के इस्तीफे की मांग लेकर दिल्ली में भाजपा नेतृत्व से मिले हैं, जो गठबंधन में सबसे बड़ी पार्टी है. इन विधायकों में BJP के साथ ही नागा पीपुल्स फ्रंट (NPF), नेशनल पीपुल्स पार्टी (NPP) और JDU के विधायक भी शामिल बताए जा रहे हैं. हालांकि 2017 से राज्य में मुख्यमंत्री पद पर काबिज एन. बीरेन सिंह ने इस चर्चा के बाद मीडिया से मुलाकात में अपने ऊपर इस्तीफे के दबाव की बात खारिज कर दी है. बता दें कि मणिपुर में NDA सरकार के पास 60 में से 53 सीट हैं, जिनमें 37 भाजपा की हैं. पिछले साल 3 मई को राज्य में हिंसा शुरू हुई थी, जो अब तक खत्म नहीं हुई है. इसके चलते इस बार भाजपा वहां दोनों लोकसभा सीटें कांग्रेस से हार गई है. इसी कारण माना जा रहा है कि BJP का केंद्रीय नेतृत्व भी मुख्यमंत्री को बदलने के पक्ष में है.