लालू यादव के 'चक्रव्यूह' में फंसे नीतीश कुमार, बिहार में विपक्ष के नेता क्यों उठा रहे सवाल?

Written By डीएनए हिंदी वेब डेस्क | Updated: Dec 30, 2022, 09:23 AM IST

नीतीश कुमार और लालू यादव. (फाइल फोटो-PTI)

नीतीश कुमार और लालू यादव, विचारधारा के स्तर पर अलग-अलग हैं. लालू पर जंगलराज चलाने का आरोप लगता रहा है, वहीं नीतीश की छवि सुशासन बाबू की रही है.

डीएनए हिंदी: बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, लालू यादव के चक्रव्यूह में ऐसे फंसे हैं कि उनकी कुर्सी तक दांव पर लग गई है. उनकी जगह तेजस्वी यादव सूबे की कमान संभाल सकते हैं. बिहार में विपक्षी नेताओं का एक धड़ा यह दावा कर रहा है. विपक्ष का इशारा इस ओर है कि जनता दल यूनाइटेड (JDU) की सियासी पकड़ खत्म होने वाली है और राष्ट्रीय जनता दल (RJD) का राज दोबारा आना वाला है. अटकलें  विधानसभा में विपक्ष के नेता विजय कुमार सिन्हा के बयान पर लगाई जा रही हैं.

विजय कुमार सिन्हा ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर निशाना साधते हुए कहा कि वह अपनी पार्टी के सहयोगी और राष्ट्रीय जनता दल प्रमुख लालू प्रसाद यादव के चक्रव्यूह में फंस गए हैं. उनका कहना है कि नीतीश कुमार की सरकार जल्द ही उपमुख्यमंत्री तेजस्वी यादव संभालेंगे, इसलिए मुख्यमंत्री ने 5 जनवरी से यात्रा शुरू करने की घोषणा की है.

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'पिकनिक है नीतीश कुमार की पदयात्रा'

विजय कुमार सिन्हा ने कहा, 'अगर नीतीश कुमार में साहस और हिम्मत है, तो जाएं और सारण जहरीली त्रासदी के पीड़ितों से मिलें और उन्हें मुआवजा दें. नीतीश कुमार अपने फायदे के लिए यात्रा कर रहे हैं. जब भी वह यात्रा के लिए जाते हैं, यह उनके लिए पिकनिक है.'


विधानसभा में विपक्ष के नेता विजय कुमार सिन्हा ने कहा, 'नीतीश कुमार को शायद इस बात का अहसास हो गया है कि मुख्यमंत्री के तौर पर उनका कार्यकाल पूरा हो चुका है और राजद मार्च 2023 में उन्हें शीर्ष पद से हटाने की तैयारी कर रहा है.'

'जनता के पैसे से हेलीकॉप्टर खरीद रहे हैं नीतीश कुमार'

विजय कुमार सिन्हा ने कहा, 'नीतीश कुमार करदाताओं के पैसे से एक जेट और हेलीकॉप्टर खरीदने जा रहे हैं. वह वास्तव में लालू प्रसाद यादव की राजनीति में फंस गए हैं और तेजस्वी यादव के दबाव में इसे खरीद रहे हैं. बिहार के लोग इसे समझ रहे हैं और वे सही समय पर उचित जवाब देंगे.'

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क्या BJP की वजह से फिर ठनेगा JDU और RJD के बीच सियासी तकरार?

भारतीय जनता पार्टी के नेता के इस बयान से बिहार में जनता दल यूनाइटेड और राष्ट्रीय जनता दल के बीच सियासी दरार पैदा हो सकती है. दोनों पार्टियां न तो वैचारिक रूप से एक हैं न ही व्यवहारिक रूप से. नीतीश कुमार की छवि बिहार में सुशासन बाबू की रही है. लालू यादव और राबड़ी देवी की सरकार पर कुशासन के आरोप लगते रहे हैं. बीजेपी उनके कार्यकाल को जंगलराज बताती है. सियासी मजबूरी की वजह से एकजुट हुआ यह गठबंधन पहले ही सवालों के घेरे में है.

क्या है JDU का जवाब?

JDU प्रवक्ता अभिषेक झा ने विजय कुमार सिन्हा के बयान पर जवाब देते हुए कहा, 'विजय सिन्हा जैसे बीजेपी नेता के बयान को उनके मानसिक दिवालियापन के लिए जिम्मेदार ठहराया जा रहा है. सभी जानते हैं कि नीतीश कुमार ने राज्य के आम लोगों के हित में फैसले लिए. यह उनकी 14वीं यात्रा है, जो वे 5 जनवरी से शुरू कर रहे हैं. उन्होंने एक उदाहरण पेश किया है कि कैसे सत्ता में रहने वाला नेता आम लोगों के हित में लगातार यात्राएं कर रहा है. देश में आमतौर पर पार्टियों के नेता विपक्ष में रहते हुए यात्रा करते हैं, लेकिन नीतीश कुमार उनमें से एक अपवाद हैं.'

अभिषेक झा ने कहा, 'बीजेपी नेता बिहार सरकार की नीतियों पर सवाल उठा रहे हैं, लेकिन 8500 करोड़ रुपये में खरीदे गए प्रधानमंत्री के विमान पर स्पष्टीकरण नहीं दे रहे हैं. केंद्र सरकार ने संसद को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के विदेश दौरों की जानकारी दे दी है, जिन पर 2,000 करोड़ रुपये खर्च हुए. क्या ये करदाताओं के पैसे से नहीं हैं? वे उन खर्चो पर सवाल क्यों नहीं उठा रहे हैं?' (इनपुट: IANS)

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