Bombay High Court: सार्वजनिक जगहों पर नहीं लगेंगे नेताओं और धार्मिक संगठनों के पोस्टर-बैनर, हाई कोर्ट ने लगाया बैन

अनामिका मिश्रा | Updated:Feb 22, 2024, 11:57 AM IST

सार्वजनिक जगहों पर नहीं लगेंगे नेताओं और धार्मिक संगठनों के पोस्टर-बैनर, HC ने लगाया बैन

Bombay high court के एक फैसले से कहीं भी पोस्टर-बैनर या होर्डिंग लगाने वालों को मुश्किल हो सकती है.

बॉम्बे हाई कोर्ट ने बुधवार को एक अहम फैसला सुनाया है. हाई कोर्ट ने कहा कि राजनीतिक, धार्मिक या व्यावसायिक संगठन सड़क और फुटपाथ जैसी सार्वजनिक जगहों पर अपने बैनर या पोस्टर नहीं लगा सकेंगे. हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस देवेंद्र कुमार उपाध्याय और जस्टिस आरिफ डॉक्टर की बेंच ने कहा कि इस तरह से सार्वजनिक स्थान पर अवैध होर्डिंग या बैनर लगाने से सड़क पर पैदल चलने वालों और सड़क का इस्तेमाल करने वाले सभी लोगों के लिए खतरा पैदा होता है.

उन्होंने आगे कहा, "किसी भी राजनीतिक दल, व्यावसायिक संगठन, या धार्मिक संगठन को कानूनी रूप से व्यक्तिगत लाभ और विज्ञापन के लिए फुटपाथ, स्ट्रीट लाइट और सड़कों जैसे सार्वजनिक स्थानों का उपयोग करने की अनुमति नहीं दी जा सकती है." कोर्ट ने आम जनता से इस तरह के अवैध होर्डिंग्स के प्रतिष्ठानों में शामिल न होने का अनुरोध किया है.


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BMC लगातार कर रही कार्रवाई
2017 में एक आदेश पारित हुआ था जिसमें अवैध होर्डिंग और बैनर हटाने का आदेश दिया गया था. अदालत इस आदेश के अनुपालन की मांग करने वाली अवमानना याचिका सहित याचिकाओं के एक समूह पर सुनवाई कर रही थी. BMC (बृहन्मुंबई नगर निगम) के वरिष्ठ अधिवक्ता अनिल सखारे ने एक एफिडेविट पेश करके बताया कि बीएमसी ने पिछले एक साल में करीब 22 एफआईआर दर्ज की और 10,000 से ज्यादा राजनीतिक बैनर हटाए हैं.

याचिकाकर्ताओं ने बताया के कि BMC के इन प्रयासों के बावजूद, फुटपाथों, सड़कों और ट्रैफिक लाइट को ढक करने वाले अवैध बैनरों और होर्डिंग्स की संख्या में कमी नहीं आई है. इसके बाद हाई कोर्ट की बेंच ने याचिकाकर्ताओं की ओर से पेश की गई तस्वीरों की जांच की और यह पाया कि बेतरतीब अवैध होर्डिंग्स पैदल चलने वालों और सड़कों का इस्तेमाल करने वाले लोगों के लिए समस्या पैदा करते हैं.

अदालत ने बीएमसी से उन सड़कों का प्रचार करने को कहा है, जिन पर बैनर लगाने की अनुमति है.

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