उत्तर प्रदेश के सुल्तानपुर में गैंगस्टर मंगेश यादव के एनकाउंटर को लेकर सियासत गरमा गई है. बीते दिनों ने समाजवादी पार्टी के मुखिया अखिलेश यादव ने सोशल मीडिया साइट X पर पोस्ट लिखकर कहा था कि आरोपी मंगेश का गलत तरीके से एनकाउंटर किया गया. आरोपी पहले ही इस मामले में सरेंडर कर चुका था. उन्होंन पुलिस प्रशासन पर आरोप लगाया कि आरोपी का एनकाउंटर जाति देखकर किया गया.
अखिलेश के ट्वीट के बाद नंदी का पलटवार
सपा प्रमुख के इस पोस्ट के बाद कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल नंदी ने भी अखिलेश यादव पर निशाना साधा. उन्होने कहा कि अपराधियों के साथ खड़ा होना तो अखिलेश यादव के डीएनए में है. कहा तो यह भी जाता है कि जिस गाड़ी में सपा का झंडा समझो उसमें गुंडा बैठा है. समाजवादी पार्टी हमेशा अपराधियों के साथ खड़ी होती है. सपा की सरकार में ठेका पट्टा के नाम पर करोड़ों की लूट होती थी. नंदी ने यहां तक कहा कि 'विरासत में गद्दी मिल सकती है, बुद्धि नहीं.' अखिलेश यादव चांदी का चम्मच लेकर पैदा हुए हैं.
अखिलेश यादव ने ट्वीट में क्या लिखा?
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने ट्विटर पर योगी सरकार पर निशाना साधा था. उन्होंने सुल्तानपुर में गैंगस्टर मंगेश यादव के एनकाउंटर पर कहा कि प्रशासन ने जाति देखकर एनकाउंटर किया. भाजपा राज अपराधियों का अमृतकाल है. जब तक जनता का दबाव व आक्रोश चरम सीमा पर नहीं पहुंच जाता है, तब तक लूट में हिस्सेदारी का काम चलता रहता है और जब लगता है जनता घेर लेगी तो नकली एनकाउंटर का ऊपरी मरहम लगाने का दिखावा होता है. जनता सब समझती है कि कैसे कुछ लोगों को बचाया जाता है और कैसे लोगों को फंसाया जाता है. घोर निंदनीय!' अखिलेश के इस ट्वीट के बाद कैबिनेट मंत्री गोपाल नंदी ने उन पर जमकर निशाना साधा.
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क्या है मंगेश यादव एनकाउंटर केस?
सुल्तानपुर में 28 अगस्त को गहनों की एक दुकान में दिनदहाड़ लूट की वारदात को अंजाम दिया था. मंगेश यादव इस वारदात में संदिग्ध आरोपी था. पुलिस में मामला दर्ज कराया गया कि शिकायत के अनुसार हथियारबंद लुटेरे डेढ़ करोड़ की नकदी और आभूषण लूटकर ले गए थे. CCTV फुटेज के आधार पर पुलिस ने आरोपियों की तलाश शुरू कर दी. पुलिस ने 5 अगस्त को एनकाउंटर में तीन आरोपियों को पकड़ा. इस एनकाउंटर में मंगेश यादव को मार गिराया गया. मंगेश यादव पर एक लाख रुपये का ईनाम था.
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