झारखंड के पूर्व सीएम चंपाई सोरेन (Champai Soren) ने जेएमएम से बगावत करने के बाद बता दिया कि उनका अगला कदम किया होगा. चंपाई सोरेन ने कहा कि वह राजनीति से संन्यास नहीं लेंगे, बल्कि नई पार्टी बनाएंगे. साथ ही उन्होंने कहा कि जो भी उनके विचारधारा के साथ आगे बढ़ेगा वह उनके साथ गठबंधन करने से पीछे नहीं हटेंगे. गौरतलब है कि चंपाई सोरेन के बीजेपी में जाने की अटकलें लगाई जा रही थीं.
चंपाई सोरेन ने कहा, 'मैंने तीन विकल्प बताए थे. राजनीतिस से संन्यास, संगठन या दोस्त. मैनें सोचा कि रिटायरमेंट नहीं लूंगा. मैं नई पार्टी बनाऊंगा और उसे मजबूत करने के लिए काम करूंगा. अगर हमारी विचारधारा का कोई दोस्त मिलता है तो उसके साथ आगे बढ़ेंगे.'
चंपाई सोरेन के अलग पार्टी बनाने से जेएमएम की मुश्किलें बढ़ सकती हैं. वह झारखंड़ के दिग्गज नेता माने जाते हैं. JMM में भी वह सोरेन परिवार के करीबी थे. यही वजह है कि जब हेमंत सोरेन जेल गए तो चंपाई सोरेन को मुख्यमंत्री बनाया गया था. हालांकि, जेल से बाहर आने के बाद उन्हें हटा दिया गया. जिसकी वजह से उन्होंने नई जमीन तलाशना शुरू कर दिया.
'मैं राजनीति नहीं छोड़ूंगा'
उन्होंने कहा कि मैंने अपना पूरा जीवन झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) को समर्पित कर दिया. चंपाई सोरेन ने मंगलवार को कहा था, 'यह मेरे जीवन का नया अध्याय है. मैं राजनीति नहीं छोड़ूंगा, क्योंकि मुझे अपने समर्थकों से बहुत प्यार और समर्थन मिला है. अध्याय समाप्त हो गया है, मैं एक नया संगठन बना सकता हूं.
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सोरेन को 1990 के दशक में पृथक राज्य बनाने की लड़ाई में उनके योगदान के लिए 'झारखंड का टाइगर' उपनाम दिया गया था. झारखंड को 2000 में बिहार के दक्षिणी भाग से अलग करके बनाया गया था. चंपई सोरेन ने कहा, 'झामुमो से किसी ने मुझसे संपर्क नहीं किया है. यह झारखंड की धरती है. मैंने छात्र जीवन से ही संघर्ष किया है. मैंने पार्टी सुप्रीमो शिबू सोरेन के नेतृत्व में अलग झारखंड राज्य के लिए आंदोलन में हिस्सा लिया था.'
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