दिल्ली शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में मनीष सिसोदिया को दिल्ली हाईकोर्ट से बड़ा झटका लगा है. कोर्ट ने सिसोदिया की जमानत याचिका को खारिज कर दिया है. इससे पहले हाईकोर्ट ने 14 अप्रैल को सुनवाई करते हुए फैसला सुरक्षित रख लिया था. हालांकि, उच्च न्यायालय ने हफ्ते में पत्नी से एक बार मिलने के निचली अदालत के फैसले का बरकार रखा है.
हाईकोर्ट ने सीबीआई और ED दोनों ही केस में मनीष सिसोदिया को राहत देने से इनकार कर दिया. कोर्ट ने कहा कि सिसोदिया प्रभावशाली व्यक्ति हैं, अगर उन्हें जमानत मिलती है तो उनमें द्वारा गवाहों को प्रभावित करने या सबूतों के साथ छेड़छाड़ करने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता. कोर्ट ने साथ ये भी कहा कि ट्रायल में देरी के लिए सीबीआई-ईडी को जिम्मेदार नहीं ठहराया जा सकता है.
31 मई तक बढ़ी न्यायिक हिरासत
वहीं, दिल्ली की राऊज एवेन्यू कोर्ट ने मनीष सिसोदिया और अन्य की न्यायिक हिरासत 31 मई तक बढ़ा दी है. सीबीआई की गिरफ्तारी के बाद पिछले साल 26 फरवरी से सिसोदिया हिरासत में हैं. इसके बाद उन्हें ईडी ने गिरफ्तार किया. 15 मई को दिल्ली कोर्ट ने इसी मामले में उनकी हिरासत 30 मई तक बढ़ा दी थी.
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पिछले हफ्ते प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने एक विशेष अदालत के समक्ष अपनी आठवीं चार्जशीट दायर की थी. इसमें आम आदमी पार्टी (आप) और उसके राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल को आरोपी बनाया गया. मामले में अब तक कुल 18 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। इनमें अरविंद केजरीवाल, मनीष सिसोदिया, बीआरएस नेता के कविता और कई अन्य शामिल हैं.
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