Haldwani: हल्द्वानी में रेलवे की जमीन पर बेघर होंगे 4,000 से ज्यादा लोग या बचेगी बस्ती, सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई आज

डीएनए हिंदी वेब डेस्क | Updated:Jan 05, 2023, 06:51 AM IST

हल्द्वानी में प्रशासनिक आदेश के खिलाफ सड़क पर बैठी प्रदर्शनकारी महिलाएं.

भारतीय रेलवे के आधिकारिक आंकड़े के मुताबिक 814.5 हेक्टेयर जमीन पर किसी न किसी तरह का कब्जा बरकरार है.

डीएनए हिंदी: उत्तराखंड हाई कोर्ट ने 20 दिसंबर को हल्द्वानी (Haldwani) के बनभूलपुरा क्षेत्र में 29 एकड़ रेलवे भूमि से कब्जा हटाने का आदेश दिया था. कोर्ट ने अतिक्रमणकारियों को इसे खाली करने के लिए एक सप्ताह का अग्रिम नोटिस दिया था. बनभूलपुरा के हजारों निवासियों ने अतिक्रमण हटाने का विरोध करते हुए कहा था कि यह उन्हें बेघर कर देगा और उनके स्कूल जाने वाले बच्चों के भविष्य को खतरे में डाल देगा. इस कदम से बड़ी संख्या में महिलाएं, बच्चे और बुजुर्ग प्रभावित होंगे.

रेलवे की जमीन पर से अतिक्रमण हटाने की कार्रवाई शुरू हुई तो यहां वर्षों से रह रहे लोगों में हड़कंप मच गया. इस पूरे इलाके में करीब 60,000 लोग रहते हैं. इसमें 35 से 40 हजार लोगों के पास वोटर आईडी कार्ड भी हैं. यहां रहने वाले लोगों ने आधार कार्ड भी बनवा लिए हैं. अतिक्रमण हटाने के नाम पर बेघर करने की कार्रवाई को लेकर यहां के लोगों में रोष है और बेघर होने का भी डर है.

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कई दशकों तक बसते रहे, अचानक कैसे करें खाली?

जिन लोगों को जमीन खाली करने का नोटिस मिला है, उन लोगों में इस बात को लेकर गुस्सा है कि ये कई दशकों से यहां बसे हुए हैं. उन्हें कभी हटने के लिए नहीं कहा गया और न ही उन्हें किसी तरह का कोई नोटिस मिला. कुछ के पास हाउस टैक्स के कागजात, बिजली बिल और अपने घरों के राशन कार्ड जैसे जरूरी दस्तावेज भी हैं.

4,365 घरों को ढहाने के लिए तैयार एक्शन प्लान

प्रशासन ने कुल 4,365 अतिक्रमण हटाने की योजना बनाई है. इन घरों पर बुलडोजर चलने वाला है. लोगों के उग्र विरोध प्रदर्शन की वजह से प्रशासन की यह कार्यवाही बाधित हो रही है. यह मामला अब सुप्रीम कोर्ट में गया है और आज सुप्रीम कोर्ट में इस मुद्दे पर सुनवाई होनी है.

हल्द्वानी के मामले पर चढ़ा राजनीतिक रंग

हल्द्वानी के इस इलाके को लेकर राजनीतिक रंग दिए जाने की कोशिशें तेज हो गई हैं. जिस इलाके में लोगों को घर खाली करने के लिए कहा गया है, वहां अधिकांश मुस्लिम आबादी है. राजनीतिक दल इसे मुस्लिमों के खिलाफ जानबूझकर की गई कार्रवाई का आरोप मढ़ रहे हैं. मुस्लिम नेताओं और विपक्ष ने मिलकर सत्तारूढ़ सरकार के खिलाफ मुश्किलें बढ़ा दी हैं. उत्तराखंड में बीजेपी की सरकार है, इस वजह से विपक्ष उसे हिंदूवादी राजनीति करने के लिए घेर रहा है. अब सुप्रीम कोर्ट में यह मामला है, तभी तस्वीर साफ हो सकेगी कि इस पर फैसला क्या लेना है.

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सुप्रीम कोर्ट में अहम सुनवाई आज

सुप्रीम कोर्ट हल्द्वानी में रेलवे की 29 एकड़ जमीन पर अतिक्रमण हटाने के उत्तराखंड हाई कोर्ट के निर्देश को चुनौती देने वाली याचिका पर आज (गुरुवार) को सुनवाई करेगा. चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़, जस्टिस एसए नजीर और जस्टिस पीएस नरसिम्हा ने अधिवक्ता प्रशांत भूषण की ओर से मामले का जिक्र किए जाने के बाद इसे सुनवाई के लिए स्वीकार किया है. इससे पहले भी हल्द्वानी के कुछ निवासियों ने इस मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था. आज इस पर अहम फैसला आ सकता है.

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