भारत सरकार ने नागरिकता संशोधन कानून (CAA) लागू कर दिया है. इसके जरिए अफगानिस्तान, पाकिस्तान और बांग्लादेश से आए गैर-मुस्लिम शरणार्थियों को भारत की नागरिकता दी जानी है. सरकार की ओर से कहा गया है कि CAA के जरिए भारत की नागरिकता लेने वालों को ऑनलाइन आवेदन करना होगा. अब केंद्रीय गृह मंत्रालय ने आधिकारिक पोर्टल भी जारी कर दिया है.
केंद्रीय गृह मंत्रालय ने अफगानिस्तान, बांग्लादेश और पाकिस्तान से आए हिंदुओं, सिखों, बौद्ध, जैन, पारसी और ईसाईयों को नागरिकता देने के लिए ऑनलाइन पोर्टल जारी कर दिया है. ये लोग भारत की नागरिकता लेने के लिए (https:/indiancitizenshiponline.nic.in) पर जा सकते हैं. इस कानून के तहत इन तीनों देशों से आए 6 धर्मों के उन लोगों को भारत की नागरिकता दी जाएगी जो 31 दिसंबर 2014 से पहले भारत आए थे.
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CAA के खिलाफ खूब हुआ था प्रदर्शन
संसद के दोनों सदनों से CAA कानून 11 दिसंबर, 2019 को पारित किया गया था. इसके एक दिन बाद ही राष्ट्रपति की ओर से इसे मंजूरी दे दी गई थी. यह कानून उन लोगों पर लागू होगा, जो 31 दिसंबर 2014 से पहले भारत आए थे. पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश से आए वहां के अल्पसंख्यकों को इस कानून के जरिए यहां भारत की नागरिकता प्रदान की जाएगी. ऐसी स्थिति में आवेदनकर्ता को साबित करना होगा कि वे कितने दिनों से भारत में रह रहे हैं.
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आवेदन करने वाले लोगों को नागरिकता कानून 1955 की तीसरी सूची की अनिवार्यताओं को भी पूरा करना होगा. बता दें कि 2019 में CAA को मंजूरी मिलने के बाद दिल्ली समेत देश के कई हिस्सों में व्यापक प्रदर्शन हुए थे. इसे काफी पहले ही लागू कर दिया जाता लेकिन कोरोना की वजह से इसमें देरी हो गई.
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