Independence Day 2022: पहली बार देश में बनी हॉवित्जर देगी 21 तोप की सलामी, जानिए इसके बारे में सबकुछ

Written By कुलदीप पंवार | Updated: Aug 11, 2022, 06:19 AM IST

ATAGS को DRDO ने विकसित किया है. मेक इन इंडिया पहल के तहत तैयार इस तोप को गेम चेंजर माना जा रहा है.

डीएनए हिंदी: देश की आजादी की 75वीं वर्षगांठ का समारोह बेहद अनूठा साबित होने जा रहा है. पहली बार स्वतंत्रता दिवस (Independence Day 2022) के मौके पर लाल किले (Red Fort Delhi) से देश में ही बनी हॉवित्जर () से सलामी दी जाएगी. केंद्र सरकार ने 15 अगस्त को पारंपरिक 21 तोप की सलामी (ceremonial 21 Gun Salute) वाले समारोह में 25 पाउंडर ब्रिटिश गन्स (25 Pounder British guns) के साथ स्वदेशी आर्टिलरी गन ATAGS (Advanced Towed Artillery Gun System) को भी दागने की मंजूरी दी है. 

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ATAGS को DRDO ने 'मेक इन इंडिया (Make in India)' पहल के तहत पूरी तरह स्वदेशी मैटीरियल से विकसित किया है. आजादी के बाद से अब तक 21 तोपों की सलामी 25 पाउंडर ब्रिटिश गन्स से ही देने की परंपरा रही है. इस समारोह के लिए ATAGS को लाल किले पर पहुंचाने के बाद बुधवार को इसकी जांच की गई. 

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दुनिया में सबसे लंबी दूरी तक मारक क्षमता

DRDO के महानिदेशक (R&M) संगम सिन्हा (Sangam Sinha) के मुताबिक, ATAGS दुनिया की सबसे लंबी दूरी की तोप है, जिससे 45 से 48 किलोमीटर दूर तक सफल निशाना लगाया जा सकता है. उन्होंने कहा, इस तोप को पुणे स्थित DRDO की आर्मामेंट रिसर्च एंड डवलपमेंट एस्टेबलिशमेंट (ARDE) की टीम ने डवलप किया है. सबसे बड़ी बात यह है कि पहली बार भारत में मेड इन इंडिया के तहत भारत फोर्ज (Bharat Forge) कंपनी ने इसका उत्पादन देश में ही किया है. उन्होंने कहा, देश की आजादी के अमृत वर्ष में यह सबसे बड़ा तोहफा है, जो भारतीय सेना (Indian Army) को बड़ा सपोर्ट देगा.

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आइए आपको इस पहली स्वदेशी हॉवित्जर के बारे में सबकुछ बताते हैं.

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कैसे हुई शुरुआत

  • 2013 में शुरू किया गया था ATAGS प्रोजेक्ट, DRDO को जिम्मेदारी मिली थी.
  • सेना की पुरानी तोप को आधुनिक 155mm आर्टिलरी गन से बदला जाना था.
  • ARDE के साथ इसमें दो निजी फर्म भारत फोर्ज व टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स जुड़ीं. 

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यह हैं कुछ खास फीचर

  • 155mm कैलिबर की ATAGS की फायरिंग रेंज 48 किलोमीटर तक है.
  • यह हाई मोबिलिटी, क्विक डेप्लॉयिबिलिटी, ऑक्सलरी पॉवर मोड से लैस है.
  • यह एडवांस्ड कम्युनिकेशन, ऑटोमेटिक कमांड-कंट्रोल सिस्टम से चलती है.
  • इस तोप की खासियत है कि यह रात में भी सीधा फायर करने में सक्षम है.
  • यह वर्ल्ड की इकलौती तोप है, जो जोन-7 में बॉईमॉड्यूलर चार्ज सिस्टम से फायर करती है.
  • परीक्षणों में यह इसी कैलिबर वाली दुनिया की टॉप गन सिस्टम्स के बराबर सटीक निकली है.

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