भारत ने Rice Export से प्रतिबंध हटाया, अब विदेशी थाली का भी Taste बढ़ाएगा सफेद चावल

रईश खान | Updated:Sep 28, 2024, 09:51 PM IST

non-basmati white rice

Non-Basmati White Rice: भारत दुनिया का सबसे बड़ा चावल निर्यातक देश है. 2022 में भारत ने दुनिया का 40 प्रतिशत से ज्यादा चावल एक्सपोर्ट किया था. यह करीब 2.22 करोड़ टन था.

केंद्र सरकार ने करीब एक साल बाद शुक्रवार को गैर-बासमती सफेद चावल (Non-Basmati White Rice) पर लगा प्रतिबंध हटा दिया है. सरकार ने जुलाई 2023 में चावल की घरेलू आपूर्ति सुनिश्चित करने और कीमतों को नियंत्रण में रखने के लिए प्रतिबंध लगाया था. भारत का यह चावल दुनिया के 140 से ज्यादा देशों में निर्यात होता है. ऐसे में भारत सरकार के इस कदम से विदेशी लोगों के खाने का जायका भी बढ़ सकेगा.

दुनिया में भारत सबसे ज्यादा चावल निर्यात करता है. 2022 में भारत ने दुनिया का 40 प्रतिशत से ज्यादा चावल एक्सपोर्ट किया था. यह करीब 2.22 करोड़ टन था. निर्यातकों ने पाबंदी हटाने के सरकार के फैसले की सराहना की और इसे क्षेत्र के लिए अहम करार दिया है. 

राइस विला के CEO सूरज अग्रवाल ने कहा, ‘गैर-बासमती सफेद चावल के निर्यात पर प्रतिबंध हटाने का भारत का साहसिक फैसला कृषि क्षेत्र के लिए परिवर्तनकारी है.’ अधिसूचना में कहा गया है कि सरकार ने ‘पारब्वॉइल्ड’ चावल पर निर्यात शुल्क भी 20 प्रतिशत से घटाकर 10 प्रतिशत कर दिया है.


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सीमा शुल्क को समाप्त
सरकार ने गैर-बासमती सफेद चावल के निर्यात पर सीमा शुल्क को भी समाप्त कर दिया है. भूसी वाले (भूरे चावल) और भूसी वाले चावल (धान या कच्चे) पर भी Export Duty घटाकर 10 प्रतिशत कर दिया है. 

चावल की इन किस्मों के साथ-साथ गैर-बासमती सफेद चावल पर निर्यात शुल्क अब तक 20 प्रतिशत था. नोटिफिकेशन में कहा गया है कि ये नई दरें 27 सितंबर, 2024 से प्रभावी हो गई हैं.

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