डीएनए हिंदी: उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में बर्फीले तूफान की चपेट में आए पर्वतारोहियों को रेस्क्यू करने का अभियान बुधवार को भी जारी रहा. बुधवार को 14 पर्वतारोहियों को भारतीय वायुसेना के हेलिकॉप्टरों की मदद से बचाया गया है. मंगलवार को द्रोपदी का डांडा शिखर से NIM की टीम के लौटते समय हुए इस हादसे से एक और दुखद खबर भी सामने आई है. इस हादसे में मरने वालों में सविता कंसवाल (Savita Kanswal) भी शामिल हैं. 26 वर्षीय कंसवाल के नाम पर महज 16 दिन के अंदर दुनिया के सबसे ऊंचे पर्वत शिखर माउंट एवरेस्ट (Mount Everest) और माउंट मकालु (Mount Makalu) को फतेह करने का रिकॉर्ड दर्ज था. कंसवाल ऐसा करने वाली पहली भारतीय महिला थीं. हादसे में कुल 10 पर्वतारोहियों की मौत की खबर है, जिनमें से 4 के शव निकाल लिए गए हैं. रेस्क्यू अभियान बृहस्पतिवार को भी जारी रखा जाएगा.
पढ़ें- केदारनाथ-बदरीनाथ धाम के कपाट बंद होने की तारीख तय, जानिए कब तक खुले रहेंगे चारों धाम
मंगलवार सुबह हुआ था हादसा
उत्तरकाशी (Uttarkashi) के नेहरू पर्वतारोहण संस्थान (Nehru Institute of Mountaineering) के ट्रेनी पर्वतारोहियों और माउंटेनियरिंग इंस्ट्रक्टर्स की टीम 5670 मीटर ऊंचे द्रोपदी का डांडा-2 शिखर (Draupadi's Danda-2 Peak) पर गई थी. टीम में 34 ट्रेनी और 7 इंस्ट्रक्टर शामिल थे. मंगलवार सुबह करीब 8.45 बजे यह टीम शिखर से लौटते समय करीब 17,000 फुट की ऊंचाई पर हुए हिमस्खलन (Uttarakhand Avalanche) की चपेट में आ गई. इस एवलांच की चपेट में आकर टीम के ज्यादातर सदस्य डोकरियानी बमक ग्लेशियर में लापता हो गए. मंगलवार को NIM के प्राचार्य कर्नल अमित बिष्ट ने 10 शव देखे जाने की पुष्टि की थी, जिनमें से 4 को मंगलवार शाम ही बरामद कर लिया गया था.
पढ़ें- Solar flare की शानदार तस्वीर को NASA ने किया कैद, जानिए धरती पर कैसे पड़ेगा प्रभाव?
बुधवार को जारी की गई 28 लोगों की सूची
बुधवार सुबह उत्तराखंड पुलिस ने उन 28 ट्रेनी की सूची जारी की, जो इस एवलांच में लापता हो गए थे. इस लिस्ट के हिसाब से गायब हुए ट्रेनी पश्चिम बंगाल, दिल्ली, तेलंगाना, तमिलनाडु, कर्नाटक, असम, हरियाणा, गुजरात, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश राज्यों के हैं. इनकी तलाश के लिए भारतीय वायुसेना के चीता और LAH हेलिकॉप्टरों की मदद ली गई है. इससे पहले मंगलवार को ही राष्ट्रीय आपदा मोचन बल (NDRF), राज्य आपदा मोचन बल (SDRF), भारत तिब्बत सीमा पुलिस (ITBP) और NIM के बचाव दल भी मौके पर भेज दिए गए थे.
पढ़ें- Ravan Dahan के दौरान यमुनानगर में बड़ा हादसा, जलता हुआ पुतला भीड़ पर गिरा, दर्जनभर घायल
14 लोग शाम तक बचाए गए
भटवारी के SDM छत्तर सिंह चौहान ने PTI से बताया कि टीम के 6 सदस्यों को वायुसेना के हेलिकॉप्टर ने दो चक्कर लगाकर मतली नाम की जगह पर रेस्क्यू कर लिया. चौहान के मुताबिक, इन्हें मामूली चोट आई है. उन्होंने बताया कि हेलिकॉप्टर ने लगातार एरिया में गश्त करते हुए 8 और लोगों को बचाया है. वे सभी ठीक हैं. अब तक बचाए गए लोगों में 10 ट्रेनी और 4 इंस्ट्रक्टर शामिल हैं. टीम के बाकी सदस्यों की तलाश की जा रही है.
लोंथरू गांव की थीं सविता, 5 महीने पहले बनाया था रिकॉर्ड
अब तक बरामद किए गए 4 शवों में से एक शव देखकर सभी भावुक हो गए. यह शव पर्वतारोही सविता कंसवाल का था, जिन्होंने इसी साल मई में माउंट एवरेस्ट पर चढ़कर रिकॉर्ड कायम किया था. NIM में इंस्ट्रक्टर पद पर तैनात सविता उत्तरकाशी जिले के ही लोंथरू (Lonthru) गांव की रहने वाली थीं. सविता ने इस साल 12 मई को 8848 मीटर ऊंचे माउंट एवरेस्ट शिखर को फतेह किया था. इसके ठीक 16 दिन बाद उन्होंने 8485 मीटर ऊंचे माउंट मकालू शिखर पर चढ़कर एक नया रिकॉर्ड बना दिया था. वह ऐसा करने वाली पहली भारतीय महिला थीं. माउंट मकालू दुनिया की 5वीं सबसे ऊंची चोटी है.
पढ़ें- Dussehra rally: उद्धव ठाकरे ने एकनाथ शिंदे को बताया कटप्पा और गद्दार, बोले- जनता माफ नहीं करेगी
मुख्यमंत्री ने की मुआवजे की घोषणा
उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर धामी (Pushkar Dhami) ने बुधवार को घटनास्थल का हवाई दौरा कर बचाव अभियान का जायजा लिया. उन्होंने मृतकों के परिजनों को 2-2 लाख रुपये, गंभीर घायल को 1-1 लाख रुपये और सामान्य घायल को 50-50 हजार रुपये की आर्थिक सहायता देने की घोषणा की.
देश-दुनिया की ताज़ा खबरों Latest News पर अलग नज़रिया, अब हिंदी में Hindi News पढ़ने के लिए फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगल, फ़ेसबुक, ट्विटर और इंस्टाग्राम पर.