डीएनए हिंदी: अपने प्रगतिशील विचारों के लिए मशहूर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी (Nitin Gadkari) के एक बयान ने भारतीय राजनीति के बिगड़ते माहौल की चर्चा एक बार फिर गर्म कर दी है. गडकरी ने कहा है कि वह 'राजनीति छोड़ना' चाहते हैं, क्योंकि उनका मानना है कि इससे भी अलग जिंदगी है.
गडकरी के मन की इस बात ने भाजपा के अंदर वरिष्ठ नेताओं के बीच असंतोष की अफवाह को हवा दे दी है. बता दें कि गडकरी भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष भी रह चुके हैं और एक समय प्रधानमंत्री पद के दावेदारों के तौर पर भी उनका नाम चला था.
दो दिन पहले एक फंक्शन में कही थी ये बात
गडकरी ने दो दिन पहले एक समाजसेवी गिरीश गांधी (Girish Gandhi) के सम्मान में महाराष्ट्र (Maharashtra) के नागपुर (Nagpur) शहर में आयोजित समारोह में यह बात कही. यह समारोह शनिवार को आयोजित किया गया था. गडकरी ने कहा, कई बार मुझे आश्चर्य होता है कि मैं राजनीति को कब छोड़ूंगा. राजनीति से भी ज्यादा जिंदगी में कुछ है.
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अब ताकत पाने का जरिया बन गई है राजनीति
केंद्रीय सड़क परिवहन व राजमार्ग मंत्री गडकरी ने कहा, मैं सोचता था कि राजनीति समाज में बदलाव लाने से भी ज्यादा कुछ है, लेकिन यह ताकत पाने का जरिया बन गई है. उन्होंने कहा, आज हम देखते हैं कि 100 फीसदी लोग पावर के लिए राजनीति में आ रहे हैं. राजनीति सोशल-आर्थिक सुधारों का असल जरिया है और यही कारण है कि आज के राजनेताओं को समाज में शिक्षा, कला आदि के विकास के लिए हर हाल में काम करना चाहिए.
केंद्रीय मंत्री ने समारोह में मौजूद लोगों से सवाल भी किया. उन्होंने कहा, हमें समझना होगा कि राजनीति शब्द का मतलब क्या है. क्या ये समाज के, देश के कल्याण के लिए है या सरकार में बैठे लोगों के कल्याण के?
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शरद पवार की पार्टी के नेता रहे हैं गिरीश गांधी
गडकरी जिन समाजसेवी गिरीश गांधी (Girish Gandhi) के सम्मान समारोह में बोल रहे थे, वे राजनीति छोड़ चुके हैं. महाराष्ट्र विधान परिषद के सदस्य रह चुके गिरीश दिग्गज नेता शरद पवार (Sharad Pawar) की नेशनल कांग्रेस पार्टी (NCP) से जुड़े हुए थे, लेकिन साल 2014 में उन्होंने शरद पवार का साथ छोड़ दिया था.
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