बाहुबली नेता हरिशंकर तिवारी का 87 साल की उम्र में निधन, योगी आदित्यनाथ से खूब चली थी अदावत

Written By डीएनए हिंदी वेब डेस्क | Updated: May 17, 2023, 06:23 AM IST

हरिशंकर तिवारी

Harishankar Tiwari Death: यूपी के बाहुबली नेता हरिशंकर तिवारी का 87 साल की उम्र में निधन हो गया है. वह लंबे समय से बीमार चल रहे थे.

डीएनए हिंदी: उत्तर प्रदेश की कई सरकारों में मंत्री रहे बाहुबली नेता हरिशंकर तिवारी का मंगलवार को निधन हो गया है. 87 साल के हरिशंकर तिवारी कुछ दिनों से बीमार चल रहे थे. अपने घर पर ही निधन के बाद उनके समर्थक भारी संख्या में जुट गए. हरिशंकर तिवारी इस कद के नेता रहे हैं कि योगी आदित्यनाथ और वीरेंद्र प्रताप शाही जैसे नेताओं से लंबे समय तक उनकी अदावत चली है. निधन की सूचना मिलते ही उनके घर और गोरखपुर हाता पर समर्थकों की भीड़ जुट गई है.

हरिशंकर तिवारी के दो बेटे और एक बेटी हैं. हरिशंकर तिवारी के करीबी और रिश्तेदार गणेश पाण्डेय ने बताया कि वह करीब दो साल से बीमार थे. पांडेय ने बताया कि हरिशंकर तिवारी उत्तर प्रदेश की कल्याण सिंह, राम प्रकाश गुप्ता, राजनाथ सिंह, मायावती और मुलायम सिंह यादव सरकार में 1997 से 2007 तक लगातार कैबिनेट मंत्री भी रहे.

यह भी पढ़ें- अशोक गहलोत के समर्थन में उतरे महेश जोशी, सचिन पायलट पर लगाया गंभीर आरोप 

22 साल तक रहे विधायक
हरिशंकर तिवारी चिल्लूपार विधानसभा क्षेत्र सीट से लगातार 22 साल (1985 से 2007) तक विधायक रहे हैं. पहला चुनाव 1985 में निर्दलीय लड़ा था, फिर अलग-अलग राजनीतिक दल के टिकट पर चुनाव लड़कर जीतते रहे हैं. तीन बार कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़कर जीते और यूपी सरकार में मंत्री भी बने थे. 2007 के चुनाव में बसपा ने राजेश त्रिपाठी को अपना प्रत्याशी बनाकर चुनाव मैदान में उतार दिया.

यह भी पढ़ें- शिवकुमार-सिद्धारमैया से मिले खड़गे, बुधवार को घोषित होगा कर्नाटक का सीएम, 5 पॉइंट्स में पढ़ें पूरी बात

साल 1997 से लेकर 2007 तक यूपी में किसी भी पार्टी की सरकार बनी हो, उसमें हरिशंकर तिवारी जरूर मंत्री बने थे. हरिशंकर तिवारी के निधन पर समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने ट्वीट कर दुख जताया है. उन्होंने ट्वीट किया, 'पूर्व मंत्री हरिशंकर तिवारी जी का निधन अत्यंत दुखद! ईश्वर दिवंगत आत्मा को शांति और शोक संतप्त परिवार को यह असीम दुख सहने की शक्ति प्रदान करे.'

देश-दुनिया की ताज़ा खबरों Latest News पर अलग नज़रिया, अब हिंदी में Hindi News पढ़ने के लिए फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगलफ़ेसबुकट्विटर और इंस्टाग्राम पर.