डीएनए हिंदी: कांग्रेस सांसद राहुल गांधी रविवार (14 जनवरी) से'भारत जोड़ो न्याय यात्रा' शुरू कर रहे हैं. यह यात्रा मणिपुर के थौबल जिले से शुरू होकर मुंबई तक जाएगी. पहले इंफाल से यात्रा शुरू होने वाली थी लेकिन अनुमति नहीं मिलने की वजह से अब थौबल के खोंगजम युद्ध स्मारक से शुरू होगी. इस दौरान राहुल गांधी 6000 किलोमीटर से ज्यादा का सफर करेंगे. दो महीने तक चलने वाली यात्रा का समापन मुंबई में होगा. लोकसभा चुनाव 2024 से पहले राहुल की इस यात्रा से कांग्रेस संगठन में कितनी जान आती है, यह तो चुनाव नतीजे ही बताएंगे. राजनीतिक विश्लेषक नतीजों से अलग इसे कांग्रेस संगठन में जान फूंकने की कोशिश के तौर पर देख रहे हैं. कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे यात्रा को हरी झंडी दिखाकर रवाना करेंगे.
राहुल गांधी की न्याय यात्रा पहले इंफाल से होने वाली थी लेकिन प्रदेश सरकार ने इसके लिए अनुमति नहीं दी. मणिपुर कांग्रेस का कहना है कि न्याय यात्रा के लिए हमारा प्रतिनिधि दल मुख्यमंत्री एन. बीरेन सिंह से मिला था लेकिन इंफाल में कार्यक्रम की अनुमति नहीं दी गई है. थंबौल में भी सिर्फ 1 घंटे के कार्यक्रम की अनुमति है और अधिकतम 3,000 लोगों के ही मौजूद हो सकने की शर्त रखी गई है. अब युद्ध स्मारक से यात्रा शुरू होगी लेकिन माना जा रहा है कि दूसरे प्रदेशों में बड़ी संख्या में कांग्रेस कार्यकर्ता इस यात्रा का हिस्सा बनेंगे.
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67 दिन चलेगी इस बार भारत जोड़ो यात्रा
भारत जोड़ो न्याय यात्रा 67 दिन चलेगी. इस अवधि में कुल 6,713 किलोमीटर की दूरी तय करते हुए यात्रा 20 मार्च को मुंबई में समाप्त होगी. यात्रा उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश राजस्थान समेत दक्षिण के राज्यों को भी कवर करेगी. इस दौरान यह 15 राज्यों के 110 जिलों से होकर यात्रा गुजरने वाली है. पिछली बार भारतक जोड़ो यात्रा दक्षिण भारत से शुरू हुई थी. कन्याकुमारी से राहुल गांधी ने यात्रा शुरू की थी और इस बार पूर्वोत्तर के मणिपुर को चुना गया है.
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कांग्रेस ने कहा, अन्याय के खिलाफ है यह यात्रा
कांग्रेस के मीडिया प्रभारी जयराम रमेश ने भारत जोड़ो यात्रा के बारे में कहा कि पिछले 10 साल में हुए राजनैतिक, सामाजिक, आर्थिक अन्याय के विरोध में यह यात्रा है. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अमृतकाल के सपने दिखाते हैं लेकिन हकीकत में देश में अन्याय का माहौल बना हुआ है. राहुल गांधी की भारत जोड़ो न्याय यात्रा उन वंचितों और पीड़ितों को आवाज देने की कोशिश है. पिछले 10 साल की हकीकत अन्याय काल है न कि अमृत काल. हम जनता को न्याय देने के लिए लड़ रहे हैं.
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