डीएनए हिंदी: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के नेता शरद पवार अपनी चौतरफा राजनीति के लिए जाने जाते हैं. इस समय भी उनकी राजनीति कुछ ऐसी ही चल रही है. 2 जुलाई को अजित पवार ने अपने चाचा से बगावत की और बीजेपी-शिवसेना की गठबंधन सरकार में शामिल होकर डिप्टी सीएम बन गए. शरद पवार ने नाराजगी भी जताई लेकिन तीन बार अजित से मुलाकात भी कर चुके हैं. एक दिन पहले ही उन्होंने महा विकास अघाड़ी के नेताओं के साथ मंच साझा किया और एक एक संस्था के कार्यक्रम में पीएम मोदी को सम्मानित कर रहे हैं. चर्चा है कि शरद पवार की इस तरह की राजनीति से INDIA गठबंधन भी असहज हो रहा है.
दरअसल, 1 अगस्त को पुणे के एसपी कॉलेज मैदान में तिलक ट्रस्ट की ओर से पीएम मोदी का सम्मान समारोह आयोजित किया गया है. वैसे तो ट्रस्ट का मुखिया ही पीएम मोदी को सम्मानित करेगा लेकिन शरद पवार भी मंच पर मौजूद रहेंगे. अब इसके खिलाफ गठबंधन के साथ-साथ एनसीपी में भी आवाज उठने लगी है. अब अलग-अलग पार्टियों का एक प्रतिनिधिमंडल सोमवार को शरद पवार से मुलाकात करेगा और उनसे अपील करेगा कि वह इस कार्यक्रम में शामिल न हों.
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NCP नेता ही कर रहे विरोध
पार्टी की राज्यसभा सांसद वंदना चव्हाण का कहना है, 'व्यक्तिगत रूप से मैं इसके खिलाफ हूं कि हमारी पार्टी के मुखिया पीएम मोदी के साथ मंच साझा करें क्योंकि उन्होंने ही हमारी पार्टी को तोड़ा है और हम पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए हैं. मैं पवार साहब से आग्रह किया है कि वह इस कार्यक्रम में न जाएं.' कई पार्टियों के नेता शरद पवार को मनाना चाहते हैं लेकिन शरद पवार ने एनसीपी, कांग्रेस, शिवसेना, सीपीएम और आम आदमी पार्टी के प्रतिनिधिमंडल को मिलने का समय नहीं दिया है.
प्रकाश आंबेडकर ने इस मामले पर कहा, 'मझे लगता है कि जो कुछ हुआ वह महज नौटंकी था. यह स्पष्ट संकेत है कि अजित पवार के कथित विद्रोह को शरद पवार का समर्थन प्राप्त था. आप अपनी पार्टी को दो हिस्सों में तोड़ने के लिए उसी व्यक्ति का सम्मान कर रहे हैं.' शिवसेना यूबीटी के नेता संजय राउत ने भी कहा कि जिस बीजेपी ने एनसीपी को तोड़ा, पीएम मोदी ने एनसीपी को भ्रष्ट बताया आप उसी पार्टी के नेता को सम्मानित कैसे कर सकते हैं?
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शरद पवार के रुख से सब हैरान
अजित पवार ने न सिर्फ एनसीपी से बगावत की है बल्कि पार्टी पर भी दावा ठोंक दिया है. इसके बावजूद शरद पवार कम से कम तीन बार अजित पवार से मिल चुके हैं. इतना ही नहीं, NDA की बैठक में जाने से पहले भी अजित पवार ने शरद पवार से मुलाकात की थी. यही वजह है कि बाकी की पार्टियों को शंका हो रही है कि आखिर शरद पवार क्या करना चाह रहे हैं. हालांकि, वह INDIA गठबंधन की बैठकों में भी शामिल हुए हैं और तीसरी बैठक तो मुंबई में ही होनी है.
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