सुप्रीम कोर्ट में ऐसा क्या हुआ? Manish Sisodia की जमानत पर सुनवाई से जज ने खुद को किया अलग

Written By रईश खान | Updated: Jul 11, 2024, 04:02 PM IST

Manish Sisodia with his Wife (file photo)

Manish Sisodia Bail Plea: शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में सुप्रीम कोर्ट की तीन जजों की पीठ सुनवाई कर रही है. इनमें से जस्टिस संजय कुमार ने सुनवाई से खुद को अलग कर लिया है.

दिल्ली के पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया की मुश्किलें अभी कम नहीं हो रही हैं. सिसोदिया की जमानत याचिका पर आज (11 जुलाई) को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई होनी थी, लेकिन टल गई. शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्डिंग मामले में AAP नेता पिछले 16 महीने से तिहाड़ जेल में बंद हैं. दरअसल, सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस संजय कुमार ने सिसोदिया की उन जमानत याचिकाओं पर सुनवाई से खुद को अलग कर लिया, जिनमें उनकी जमानत को लेकर नए सिरे से विचार करने का अनुरोध किया गया था.

मनीष सिसोदिया के खिलाफ शराब नीति से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग और भ्रष्टाचार के मामले में मुकदमा दर्ज है. निचली अदालत और हाईकोर्ट से जमानत नहीं मिलने के बाद सिसोदिया ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था. इस मामले की सुनवाई जस्टिस संजीव खन्ना, जस्टिस संजय करोल और जस्टिस संजय कुमार की पीठ कर रही है. लेकिन जज संजय कुमार ने अचानक इस सुनवाई से खुद को अलग कर लिया है.

जस्टिस संजीव खन्ना ने कहा, 'हमारे भाई (संजय कुमार) को कुछ परेशानी है. वह व्यक्तिगत कारणों से इस मामले की सुनवाई नहीं करना चाहते.' सिसोदिया की ओर से पेश वरिष्ठ वकील अभिषेक सिंघवी ने पीठ से मामले को तत्काल सूचीबद्ध करने का अनुरोध किया. उन्होंने कहा कि दोनों मामलों में अभी तक सुनवाई शुरू नहीं हुई है. पीठ ने कहा कि एक अन्य पीठ 15 जुलाई को इस मामले पर विचार करेगी.

जमानत याचिका पर विचार से 4 जून को किया था इनकार
उन्होंने कहा कि सिसोदिया की जमानत की दो अलग-अलग याचिकाओं पर एक ऐसी पीठ सुनवाई करेगी, जिसके सदस्य न्यायमूर्ति संजय कुमार नहीं होंगे. शीर्ष अदालत ने कथित शराब नीति घोटाले के संबंध में CBI और ED द्वारा दर्ज मामलों में सिसोदिया की जमानत याचिका पर विचार करने से 4 जून को इनकार कर दिया था.


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आप नेता सिसोदिया ने दिल्ली हाईकोर्ट के 21 मई के फैसले को चुनौती देते हुए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था, जिसमें उनकी जमानत याचिका खारिज कर दी गई थी. सिसोदिया ने निचली अदालत के 30 अप्रैल के आदेश को उच्च न्यायालय में चुनौती दी थी, जिसमें अब रद्द कर दी गई दिल्ली आबकारी नीति के निर्माण और क्रियान्वयन में कथित अनियमितताओं से जुड़े मामलों में उनकी जमानत याचिकाओं को खारिज कर दिया गया था.

सीबीआई ने पूर्व डिप्टी सीएम को शराब नीति मामले में उनकी कथित भूमिका के लिए 26 फरवरी 2023 को गिरफ्तार किया था. ईडी ने उन्हें 9 मार्च 2023 को सीबीआई की प्राथमिकी पर आधारित धन शोधन मामले में गिरफ्तार किया था. (PTI इनपुट के साथ)

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