Congress in Crisis: पैसों की किल्लत से जूझ रही है कांग्रेस, पब्लिक फंडिंग को मजबूर हुई पार्टी

एक के बाद एक कई राज्यों में मिली करारी हार के बाद कांग्रेस पार्टी अब आर्थिक संकट से भी जूझ रही है.

राजनीतिक संकट के साथ-साथ कांग्रेस (Congress) आर्थिक संकट (Financial Crisis) का भी सामना कर रही है. कांग्रेस के पास पार्टी फंड (Public Fund) की कमी हो गई है. कांग्रेस अब आर्थिक संकट दूर करने के लिए अब जनता से पैसे मांगने की तैयारी में है.

घर-घर जाकर फंड जुटाएगी कांग्रेस

हिंदुस्तान की एक रिपोर्ट के मुताबिक अब कांग्रेस कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ इंडिया (M)  की राह पर चल सकती है. चुनाव आयोग (Election Commission) में दाखिल हुई ऑडिट रिपोर्ट में पार्टी ने यह दावा किया है कि कांग्रेस की आय साल 2020-21 में करीब 58 फीसदी कम हो गई है.

फंड जुटाना कांग्रेस की बनी मजबूरी

अब कांग्रेस पार्टी के पास फंड जुटाने के अलावा कोई और विकल्प नहीं है. कांग्रेस अब लेफ्ट की राह पर चल सकती है. अब तक वाम दल डोर टू डोर कैंपनिंग के जरिए फंड जुटाते रहे  हैं. अब कांग्रेस भी इसी राह पर आगे बढ़ सकती है.

कांग्रेस के चिंतन शिविर में कम्युनिस्ट मॉडल पर जोर

न्यू इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक कांग्रेस अपने चिंतन शिविर में भी कम्युनिस्ट पार्टी के मॉडल का जिक्र किया था. रिपोर्ट्स के मुताबिक केरल कांग्रेस के पूर्व चीफ रमेश चेन्नीथला ने पार्टी को सलाह दी थी कि फंडिग के लिए कोशिश की जाए.

2024 के लिए फंड जुटा रही है कांग्रेस

कांग्रेस पार्टी में लोकसभा चुनाव 2024 लेकर मंथन कर रही है. चुनाव की तैयारियों के लिए पार्टी को बड़े स्तर पर फंड की जरूरत है. अब कांग्रेस इसी राह पर आगे बढ़ सकती है.
 

फंडिंग की प्रक्रिया पर होगा विचार

कांग्रेस ने यह तय नहीं किया है कि फंडिंग की प्रक्रिया कैसी होगी. किस तरह फंडिंग की पूरी प्रक्रिया में पारदर्शिता अपनाई जाएगी. कांग्रेस, टास्क फोर्स 2024 की बैठकों में इस विषय पर चर्चा करेगी.

कितनी घट गई है कांग्रेस की आय?

चुनाव आयोग में दाखिल ऑडिट रिपोर्ट के मुताबिक 2020-21 में कांग्रेस की आय 285.7 करोड़ रुपये थी. 2019-20 में यह आंकड़ा 682.2 करोड़ रुपये था. वित्तीय वर्ष 2018-19 में पार्टी के अनुमानित आय 918 करोड़ रुपये के करीब थी. इसमें लगातार गिरावट देखी जा रही है.