भारत न्याय यात्रा के दौरान बरपा हंगामा, राहुल गांधी समेत कई नेताओं के खिलाफ FIR

अभिषेक शुक्ल | Updated:Jan 24, 2024, 06:50 AM IST

राहुल गांधी

राहुल गांधी के भारत न्याय यात्रा संकट में नजर आ रही है. असम में इस यात्रा के दौरान जमकर हंगामा हुआ है.

डीएनए हिंदी: कांग्रेस नेता राहुल गांधी की महत्वाकांक्षी भारत जोड़ो न्याय यात्रा अब कानूनी शिकंजे में फंस गई है. असम पुलिस ने हिंसा में शामिल होने के आरोप में कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी और पार्टी के अन्य नेताओं के खिलाफ स्वत: संज्ञान लेते हुए मंगलवार को FIR दर्ज की है. असम के मुख्यमंत्री हिमंत विश्व शर्मा ने खुद कहा है कि इन नेताओं पर FIR दर्ज की गई हैं.

भारत जोड़ो न्याय यात्रा अभी असम से होकर गुजर रही है. गुवाहाटी में प्रवेश के दौरान कांग्रेस पार्टी के समर्थकों और नेताओं ने पुलिस बैरिकेडिंग तोड़ दी और पुलिसकर्मियों के साथ झड़प की. गुवाहाटी के पुलिस आयुक्त दिगंत बोरा ने बताया कि इस झड़प में चार पुलिसकर्मी घायल हो गए. 

सीएम हिमंता ने दी FIR की जानकारी
मुख्यमंत्री ने X पर लिखा, 'कांग्रेस सदस्यों द्वारा हिंसा, उकसावे, सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और पुलिसकर्मियों पर हमले के अनियंत्रित कृत्यों के संदर्भ में आज राहुल गांधी, केसी वेणुगोपाल, कन्हैया कुमार और अन्य व्यक्तियों के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 120 (बी) 143/147/188/283/353/332/333/427, लोक संपत्ति नुकसान निवारण अधिनियम की धारा 3 के तहत मामला दर्ज किया है.'

इसे भी पढ़ें- राम मंदिर में पहले ही दिन 5 लाख श्रद्धालुओं ने किए दर्शन, टूट गए सारे रिकॉर्ड

कौन-कौन से लगाए गए हैं आरोप?
हिमंत बिस्व सरमा ने पहले राहुल गांधी के खिलाफ मामला दर्ज करने का निर्देश दिया था. जिन धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है, वे आपराधिक साजिश, गैरकानूनी रूप से एकत्र होने, दंगा करने, लोकसेवक को अपने कर्तव्य का निर्वहन करने से रोकने के लिए आपराधिक बल का प्रयोग करने या हमला करने, सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और अन्य अपराधों से संबंधित हैं. 

FIR के बाद क्या बोले राहुल गांधी?
राहुल गांधी ने कहा कि हिमंत बिस्व शर्मा द्वारा उनके खिलाफ मामला दर्ज करने का आदेश दिया जाना इस बात का प्रमाण है कि मुख्यमंत्री के दिल में डर है. उन्होंने कहा, 'वे अब उछल-कूद कर रहे हैं, मेरे खिलाफ मामला दर्ज कर रहे हैं. यह मामला उनके दिलों में डर को दर्शाता है. वे डरे हुए हैं क्योंकि असम के लोग उनके खिलाफ तूफान के रूप में खड़े हैं.'

क्यों भड़की थी हिंसा?
भारत जोड़ो न्याय यात्रा में भाग लेने वाले कांग्रेस नेताओं और समर्थकों को गुवाहाटी के मुख्य मार्गों पर प्रवेश करने से रोकने के लिए राजमार्ग पर अवरोधक लगाए गए थे. कांग्रेस समर्थकों ने जब अवरोधक हटाए तो पुलिसकर्मियों के साथ उनकी झड़प हो गई. इस दौरान प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष भूपेन बोरा और राज्य विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष देबब्रत सैकिया को चोटें आईं. असम में कांग्रेस की न्याय यात्रा का आज छठा दिन था. 

'हम कानून नहीं तोड़ रहे फिर भी रहा एक्शन'
राहुल गांधी ने कहा,'कांग्रेस के लोगों ने अवरोधक हटा दिए हैं, लेकिन हम कानून नहीं तोड़ेंगे.' उन्होंने आरोप लगाया कि पहले भारतीय जनता पार्टी के अध्यक्ष जेपी नड्डा को इसी रास्ते यात्रा निकालने की अनुमति दी गई थी, लेकिन कांग्रेस को अनुमति नहीं दी गई. 

यह भी पढ़ें- अयोध्या में भीड़ को संभालने के लिए 8 मजिस्ट्रेट तैनात, वाहनों की एंट्री पर रोक

राहुल गांधी ने कार्यकर्ताओं को बताया बब्बर शेर
राहुल गांधी ने अपने कार्यकर्ताओं और समर्थकों को बब्बर शेर करार देते हुए कहा, 'आपको यह नहीं सोचना चाहिए कि हम कमजोर हैं. हमने अवरोधक हटा दिए हैं.'

यह भी पढ़ें- बिहार के पूर्व CM कर्पूरी ठाकुर को मिलेगा भारत रत्न, सरकार का ऐलान

क्या है असम के मुख्यमंत्री का रिएक्शन?
मुख्यमंत्री हिमंत बिस्व सरमा ने राहुल गांधी के भाषण का एक वीडियो साझा करते हुए पोस्ट किया, 'प्रमाण सामने आ रहे हैं कि किस प्रकार से राहुल गांधी और जितेंद्र सिंह ने भीड़ को असम पुलिस के जवानों को मारने के लिए भड़काया. हमारे जवान जनता के सेवक हैं, किसी शाही परिवार के नहीं. निश्चिंत रहिए, क़ानून के हाथ बहुत लंबे होते हैं, आप तक जरूर पहुंचेंगे.' पुलिस ने गुवाहाटी शहर पुलिस के बशिष्ठ थाने में स्वत: संज्ञान लेते हुए प्राथमिकी दर्ज की. (इनपुट: भाषा)

देश-दुनिया की ताज़ा खबरों Latest News पर अलग नज़रिया, अब हिंदी में Hindi News पढ़ने के लिए फ़ॉलो करें डीएनए हिंदी को गूगलफ़ेसबुकट्विटर और इंस्टाग्राम पर.

Rahul Gandhi Nyay Yatra Assam assam police congress