Assembly Elections 2024: लोकसभा चुनावों के परिणाम के बाद से ही देश के उन राज्यों में विधानसभा चुनाव से जुड़ी खबर (Vidhan Sabha Chunav News) का इंतजार होने लगा था, जिनमें इस साल विधानसभा का कार्यकाल खत्म हो रहा है. अब यह इंतजार खत्म हो गया है. भारतीय निर्वाचन आयोग (Election Commision of India) ने शुक्रवार (16 अगस्त) को जम्मू-कश्मीर और हरियाणा में विधानसभा चुनावों की घोषणा कर दी है. मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने बताया कि जम्मू-कश्मीर में 3 चरण, जबकि हरियाणा में एक चरण में चुनाव का आयोजन किया जाएगा. जम्मू-कश्मीर में 20 अगस्त को नोटिफिकेशन जारी हो जाएगा, जबकि हरियाणा में 5 सितंबर को नोटिफिकेशन जारी किया जाएगा. दोनों ही राज्यों में 4 अक्टूबर को मतगणना के बाद चुनाव परिणाम घोषित कर दिया जाएगा.
जम्मू-कश्मीर में 18 सितंबर को होगा पहले चरण का मतदान
मुख्य चुनाव आयुक्त ने बताया कि जम्मू-कश्मीर में पहले चरण का मतदान 18 सितंबर को आयोजित होगा, जबकि दूसरा चरण 25 सितंबर को और फाइनल चरण का मतदान 1 अक्टूबर को आयोजित किया जाएगा. 4 अक्टूबर को मतगणना के बाद रिजल्ट जारी किया जाएगा.
हरियाणा में 1 अक्टूबर को होगा इकलौता चरण
मुख्य चुनाव आयुक्त के मुताबिक, हरियाणा में मतदान का इकलौता चरण 1 अक्टूबर को आयोजित किया जाएगा. 5 सितंबर को नोटिफिकेशन जारी होने के बाद 12 सितंबर तक नामांकन भरे जाएंगे, जबकि 16 सितंबर तक नाम वापसी की तारीख रखी गई है. 1 अक्टूबर को मतदान के बाद 4 अक्टूबर को मतगणना के साथ परिणाम घोषित कर दिया जाएगा.
यहां देखें EC की प्रेस कॉन्फ्रेंस-
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अनुच्छेद 370 हटने के बाद जम्मू-कश्मीर में पहली बार विधानसभा चुनाव
सबकी निगाह जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनावों की तारीख की घोषणा पर लगी हुई है, जहां साल 2019 में अनुच्छेद 370 निरस्त करने और राज्य को केंद्र शासित प्रदेश में बदलने के बाद से चुनाव नहीं हुए हैं. जम्मू-कश्मीर में हाल ही में आतंकी घटनाओं में आई तेजी के बावजूद विधानसभा चुनाव होने के पूरे आसार लग रहे हैं. इसकी संभावना इस कारण भी बनी हुई है, क्योंकि हाल ही में मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने अधिकारियों के साथ इसे लेकर कई बार मीटिंग भी की है. कश्मीर में लगातार चुनाव कराने की मांग राजनीतिक दलों के साथ-साथ आम जनता की तरफ से भी उठ रही है.
2014 में हुए थे 87, अब 90 सीटों पर होंगे चुनाव
जम्मू-कश्मीर में आखिरी बार साल 2014 में विधानसभा चुनाव हुए थे, जिनमें 87 विधानसभा सीट के लिए वोटिंग हुई थी. इनमें जम्मू रीजन में 37 और कश्मीर में 46 सीट के अलावा लद्दाख की 6 सीट थीं. अब नए परिसीमन के तहत चुनाव होंगे, जिनमें जम्मू में 43 और कश्मीर में 47 विधानसभा सीट हो गई हैं. लद्दाख के अलग केंद्रशासित प्रदेश बन जाने से वहां की सीटें इस बार शामिल नहीं हैं.
भाजपा ने किया था बढ़िया प्रदर्शन
साल 2014 के चुनाव में भाजपा का प्रदर्शन जोरदार रहा था. भाजपा ने कुल 65 फीसदी मतदान में सबसे ज्यादा 23 फीसदी हिस्सेदारी हासिल की थी और 25 विधानसभा सीट जीती थी. हालांकि महबूबा मुफ्ती की पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) ने सबसे ज्यादा 28 सीट जीती थी. कांग्रेस को 12 और फारुक अब्दुल्ला की नेशनल कॉन्फ्रेंस को 15 सीट मिली थी. तीन निर्दलीय उम्मीदवारों ने जीत हासिल की थी, जबकि PDF का एक और CPIM का एक उम्मीदवार विधानसभा में पहुंचा था. BJP और PDP की गठबंधन सरकार साल 2018 तक चली थी, लेकिन दोनों बीच में ही अलग हो गए थे. इसके बाद से वहां राष्ट्रपति शासन लागू है.
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