Cheetah Birth: 70 साल बाद भारत में जन्मा पहला चीता, Kuno National Park से आई खुशखबरी, देखें Video

डीएनए हिंदी वेब डेस्क | Updated:Mar 29, 2023, 04:23 PM IST

Kuno National Park Cheetah Birth

Kuno National Park के मैनेजमेंट ने चारों शावकों के साथ मादा चीता का वीडियो शेयर किया है. सभी शावक पूरी तरह स्वस्थ हैं.

डीएनए हिंदी: Madhya Pradesh News- मध्य प्रदेश के श्योपुर जिले में कुनो नेशनल पार्क (Kuno National Park) में मादा चीता साशा की मौत की जांच के बीच बड़ी खबर सामने आई है. एक अन्य मादा चीता सिया ने बुधवार को पार्क में चार शावकों को जन्म दिया है. इसी के साथ इतिहास कायम हो गया है. साल 1952 में देश के अंदर चीता को विलुप्त घोषित किए जाने के 70 साल बाद यह पहला मौका है जब भारतीय धरती पर किसी चीता शावक का जन्म हुआ है. पार्क के मैनेजमेंट ने मादा चीता और उसके चारों शावकों के वीडियो व फोटो भी सोशल मीडिया पर शेयर किए हैं. पार्क के अधिकारियों ने बताया कि सिया के गर्भवती होने की जानकारी मिलने के बाद से ही उसकी विशेष देखभाल शुरू कर दी गई थी. इसके लिए एक विशेष टीम तैनात की गई थी. इस देखभाल के बीच ही बुधवार को उसने चार शावकों को जन्म दिया है. उन्होंने बताया है कि सभी शावक पूरी तरह सुरक्षित और स्वस्थ हैं. उनकी विशेष निगरानी की जा रही है. 

नामीबिया से आई मादा चीता ने दिया है शावकों को जन्म

शावकों को जन्म देने वाली मादा चीता सिया नामीबिया से आई चीतों की पहली खेप में भारत पहुंची थी. इस खेप में 8 चीते नामीबिया से लाए गए थे, जिन्हें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 17 सितंबर, 2022 को अपने जन्मदिन पर कुनो नेशनल पार्क के विशेष बाड़े में रिलीज किया था. इन चीतों को 50 दिन तक इसी विशेष बाड़े में क्वारंटाइन रखा गया था. करीब 2 महीने पहले इनमें से तीन मादा और दो नर चीतों को मुख्य जंगल में छोड़ा गया था. इसी साल 18 फरवरी को पार्क में दक्षिण अफ्रीका से भी 12 चीते लाकर बाड़े में रखे गए हैं. 

सीएम शिवराज और केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र भी दिखे उत्साहित

कुनो नेशनल पार्क में रखे गए चीतों का कुनबा बढ़ने की खबर से मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और केंद्रीय मंत्री भूपेंद्र यादव भी बेहद उत्साहित दिखाई दिए. दोनों ने ट्वीट कर इस बात की सभी को जानकारी दी. बता दें कि दक्षिण अफ्रीका से आई चीतों की दूसरी खेप को सीएम शिवराज और मंत्री भूपेंद्र ने ही बाड़े में रिलीज किया था.

दो दिन पहले हुई थी मादा चीता की मौत

कुनो नेशनल पार्क में चीता संरक्षण के प्रयासों को दो दिन पहले तब झटका लगा था, जब नामीबिया से आई मादा चीता साशा की मौत हो गई थी. साशा संक्रमण के कारण बीमार थी और तमाम इलाजों के बाद भी ठीक नहीं हो पाई थी. इस घटना की फिलहाल जांच चल रही है.

प्रोजेक्ट चीता के तहत चल रही है कवायद

कुनो नेशनल पार्क में चीतों के संरक्षण की कवायद प्रोजेक्ट चीता (Project Cheetah) के तहत चल रही है, जो भारत में विलुप्त हो चुके इस जीव को 70 साल बाद दोबारा यहां की धरती पर जिंदा रखने का मिशन है. बता दें कि भारत में आखिरी चीता का शिकार साल 1947 में माना जाता है. तब झारखंड (तत्कालीन बिहार) की कोरिया रियासत के महाराजा रामानुज प्रताप सिंह देव ने तीन एशियाई चीतों को गोली मार दी थी, जिन्हें भारत में आखिरी चीते माना जाता है. इसके बाद साल 1952 तक पूरे देश में कहीं पर भी चीते नहीं दिखाई देने के बाद भारत सरकार ने इस जीव को ऑफिशियली विलुप्त घोषित कर दिया था.

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