डीएनए हिंदी: कोल इंडिया दुनिया की सबसे बड़ी कोयला खनन कंपनी मानी जाती है. अब इस कंपनी के सामने भी कोयले की कमी जैसी समस्या आ खड़ी हुई है. इसी के चलते कंपनी को वो करना पड़ रहा है जो बीते 7 साल से नहीं किया था. कोल इंडिया अब कोयले की कमी को देखते हुए विदेश से कोयला आयात करने जा रही है. अप्रैल में कोयले की कमी के कारण हुए गंभीर बिजली संकट को देखते हुए यह सरकार की तरफ से यह फैसला लिया गया है.
सन् 2015 के बाद यह पहली बार होगा जब कंपनी ईंधन का आयात करेगी. इसके पीछे वजह है अप्रैल में पैदा हुआ गंभीर बिजली संकट. ऐसा संकट बीते 6 साल से ज्यादा समय में पहली बार सामने आया है. आयात से जुड़े फैसले को लेकर शनिवार को ऊर्जा मंत्रालय ने एक पत्र जारी किया. इसमें कहा गया है कि कोल इंडिया कोयला मंगा कर सरकार से सरकार (जी2जी) को होने वाली आपूर्ति के लिए घरेलू कोयले में उसे मिलाएगी. इसे सरकारी ताप संयंत्रों व स्वतंत्र बिजली उत्पादक को दिया जाएगा.
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पत्र में यह भी बताया गया है कि तकरीबन सभी राज्यों की राय थी कि अलग-अलग कोयला आयात के ठेके निकालने से असमंजस के हालात पैदा होंगे. इससे बेहतर है कि केंद्रीकृत रूप से कोयला आयात किया जाए. देश में इस साल की तीसरी तिमाही में बिजली की मांग में तेजी आने के कारण कोयले की कमी की आशंका जताई जा रही है.
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