डीएनए हिंदी: गृह मंत्रालय ने बीजेपी के तीन और Y+ कैटेगरी की वीआईपी सुरक्षा देने का फैसला किया है. इन नेताओं में ऋतुराज सिन्हा, नलिन कोहली और अभय गिरी का नाम शामिल है. अब ये तीनों नेता सीआईएसएफ (CISF) कमांडों के घेरे में रहेंगे. बताया जा रहा है कि केंद्र सरकार ने नगालैंड चुनाव के चलते इन नेताओं के VIP सुरक्षा प्रदान की है. क्योंकि नलिन कोहील को नगालेंड का प्रदेश प्रभारी बनाया गया है.
बता दें कि नगालैंड में इसी महीने 27 फरवरी को मतदान होना है. मतगणना 2 मार्च को होगी. राज्य में 60 विधानसभा सीटें हैं. ऐसे सत्ता में आने के लिए सभी राजनीतिक दल पूरे जोर लगा रहे हैं. नगालैंड में नामांकन की प्रक्रिया अपने आखिरी चरण में है.
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बता दें कि भारत में छह प्रकार के केंद्रीय सुरक्षा कवर हैं. इनमें X, Y, Y+, Z, Z+ और SPG है. लगभग 600 करोड़ रुपये के वार्षिक बजट वाला विशेष सुरक्षा समूह (SPG) केवल प्रधानमंत्री की सुरक्षा करता है. एसपीजी की सुरक्षा पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के अलावा सोनिया गांधी, राहुल गांधी और प्रियंका गांधी को भी प्रदान की जाती रही है. हालांकि करीब तीन साल पहले इनकी सुरक्षा में कटौती कर जेड प्लस सिक्योरिटी दी गई है
कैसे मिलती है सुरक्षा?
केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) और केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) को वीआईपीज को सुरक्षा प्रदान करने का काम सौंपा गया है. जबकि मंत्रियों को सरकार में उनकी स्थिति के कारण केंद्रीय सुरक्षा कवर मिलता है. निजी व्यक्तियों के लिए ऐसी सुरक्षा सीधे गृह मंत्रालय द्वारा खुफिया एजेंसियों के इनपुट के आधार पर दी जा सकती है.
क्या है X श्रेणी सिक्योरिटी?
दो व्यक्तिगत सुरक्षा अधिकारी चौबीसों घंटे साथ रहते हैं. लगभग छह पीएसओ 8 घंटे की शिफ्ट में काम करते हैं.
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क्या है Y और Y+ सिक्योरिटी?
वाई श्रेणी की सुरक्षा के तहत दो पीएसओ और एक सशस्त्र गार्ड चौबीसों घंटे निवास पर और रात में अतिरिक्त सुरक्षा प्रदान करते हैं. लगभग 11 (निवास के लिए 5 और व्यक्तिगत सुरक्षा के लिए 6) सुरक्षाकर्मी शिफ्ट वाइज ड्यूटी करते हैं. इनकी संख्या शिफ्ट के अनुसार कम या ज्यादा भी हो सकती है. जबकि Y+ की सुरक्षा कवर के तहत पांच कर्मी – एक सीआरपीएफ कमांडर और चार कांस्टेबल आवास पर तैनात होते हैं. छह व्यक्तिगत सुरक्षा अधिकारियों (पीएसओ) को तीन शिफ्टों में रोटेशन के आधार पर सुरक्षा के साथ तैनात किया जाता है. इसका मतलब है कि दो पीएसओ हर समय सुरक्षा प्राप्त व्यक्ति के साथ होते हैं.
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