कौन हैं IAS Naveen Tanwar, जिन्होंने दूसरे की जगह दिया था IBPS Exam, अब हो गए सस्पेंड

Written By कुलदीप पंवार | Updated: Apr 06, 2024, 08:24 PM IST

IAS Naveen Tanwar Suspend: हिमाचल प्रदेश कैडर के IAS अफसर नवीन तंवर को पिछले महीने ही गाजियाबाद की सीबीआई कोर्ट ने सजा सुनाई थी. इसके बाद उन पर कार्रवाई होना तय माना जा रहा था.

IAS Naveen Tanwar Suspend: हिमाचल प्रदेश कैडर के IAS नवीन तंवर (IAS Naveen Tanwar) पर आखिरकार उस मामले की गाज गिर ही गई है, जिसमें उन्हें पिछले महीने उत्तर प्रदेश के गाजियाबाद की एक अदालत ने 3 साल कैद की सजा सुनाई थी. तंवर पर आरोप है कि उन्होंने साल 2014 में झांसी के अमित सिंह की जगह फर्जी कैंडीडेट के तौर पर बैंक क्लर्क रिक्रूटमेंट एग्जाम (IBPS Exam) दिया था. इस मामले की CBI जांच में नवीन तंवर के खिलाफ आरोप सही साबित हुए थे, जिनके आधार पर उन्हें सजा सुनाई गई थी. फिलहाल वे इस मामले में जमानत पर चल रहे हैं. 

क्या है निलंबन का कारण

ETV Bharat की रिपोर्ट के मुताबिक, तंवर को निलंबित करने के लिए विधि विभाग के उस स्पष्टीकरण को कारण माना जा रहा है, जिसमें कहा गया है कि यदि कोई सरकारी कर्मचारी या अधिकारी 48 घंटे के लिए जेल में रहता है तो वह स्वयं ही 'निलंबित' हो जाता है. हालांकि तंवर को हिमाचल सरकार ने 7 दिन की छुट्टी दे रखी थी. इसके बाद उन्होंने 24 मार्च को ई-मेल भेजकर 14 दिन की छुट्टी और देने का आग्रह किया था.

2019 बैच के IAS अफसर हैं नोएडा निवासी तंवर

नवीन तंवर उत्तर प्रदेश के नोएडा के रहने वाले हैं. तंवर हिमाचल कैडर के 2019 बैच के IAS अफसर हैं. वे फिलहाल हिमाचल प्रदेश में अपर जिलाधिकारी (ADM) के तौर पर तैनात थे. उन्हें करीब 10 महीने पहले चंबा जिले में जिला ग्रामीण विकास एजेंसी (DRDA) में एडिशनल डिप्टी कमिश्नर/प्रोजेक्ट डायरेक्टर पद की जिम्मेदारी मिली थी. इससे पहले वे कांगड़ा व चंबा में SDM भी रह चुके हैं.

क्या था वह मामला, जिसमें हुई थी सजा

गाजियाबाद के आइडियल इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी में 13 दिसंबर, 2014 को बैंकिंग पर्सनल सलेक्शन (IBPS) क्लर्क रिक्रूटमेंट एग्जाम आयोजित किया गया था. इस एग्जाम में सॉल्वर गैंग के एक्टिव होने की जानकारी CBI को मिली थी. CBI ने इस सिलसिले में दो लोगों सावन कुमार और नवीन तंवर को फर्जी कैंडीडेट के तौर पर चिह्नित किया था. आरोप है कि नवीन ने झांसी निवासी अमित सिंह की जगह यह एग्जाम दिया था, जबकि सावन कुमार एग्जाम में अजय पाल सिंह की जगह शामिल हुए थे. 

CBI जांच में इस बात की पुष्टि होने पर नवीन और सावन समेत कुल 6 लोगों को आरोपी बनाया गया था. बाकी आरोपियों में अमित और अजय पाल के अलावा सुग्रीव गुर्जर और हनुमत गुर्जर शामिल थे. सुग्रीव और हनुमत को इस मामले में दोनों पक्षों के बीच पैसे के लेनदेन में बिचौलिया की भूमिका निभाने का आरोपी बनाया गया था. इन सभी को सीबीआई ने हिरासत में भी लिया था, लेकिन बाद में इन्हें जमान पर रिहा कर दिया गया था. सीबीआई ने इस मामले में दाखिल चार्जशीट में भी इन लोगों को आरोपी बनाया था. सुनवाई के बाद मार्च, 2024 में इस मामले में गाजियाबाद की सीबीआई कोर्ट ने इन सभी को सजा सुनाई थी, जिसमें तंवर को भी 3 साल कैद की सजा सुनाई गई थी. 

मुकदमा चलने के दौरान ही IAS बने थे नवीन

CBI की चार्जशीट के आधार पर कोर्ट में इस मामले में मुकदमा चलने के दौरान ही नवीन अपनी पढ़ाई में जुटे रहे थे. नवीन ने करीब चार साल मेहनत करने के बाद आखिरकार साल 2019 में UPSC Exam क्रैक कर लिया था और वे IAS अफसर बन गए. 

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