डीएनए हिंदी: भारत आज 15 अगस्त 2022 को आजादी (Independence Day 2022) की 75वीं वर्षगांठ मना रहा है. स्वतंत्रता दिवस के मौके पर पीएम नरेंद्र मोदी ने (PM Narendra Modi) ने लाल किले की प्राचीर से 9वीं बार देश को संबोधित किया. इस दौरान पीएम ने अपने संबोधन में कहा, 'आज का दिवस ऐतिहासिक है. आज नई राह, नए संकल्प और नए सामर्थ के साथ कदम बढ़ाने का शुभ अवसर है. PM ने 25 साल के पंच प्रण के बारे में बताया और भाई-भतीजावाद को लेकर जमकर हमला बोला. आइये जानते हैं प्रधानमंत्री के भाषण की 10 बड़ी बातें-
25 सालों के लिए 5 प्रण- पीएम मोदी ने कहा, 'अब देश बड़े संकल्प लेकर चलेगा और पहला संकल्प विकसित भारत उससे कम नहीं होना चाहिए. दूसरा प्रण है कि किसी भी कोने में हमारे मन में गुलामी का एक भी एक भी अंश है तो उसे खत्म करना है. तीसरा प्रण शक्ति है कि हमें हमारी विरासत पर गर्व होना चाहिए. यही विरासत है जिसने देश को स्वर्णिम काल दिया था. पीएम मोदी ने कहा, 'चौथा प्रण एकता और एकजुटता का है. 130 करोड़ देशावासियों में एकजुटता है. न कोई अपना न कोई पराया. एक श्रेष्ठ भारत के लिए यह प्रण है. पीएम ने कहा कि पांचवां प्रण है नागरिकों का कर्तव्य. इससे प्रधानमंत्री, मुख्यमंत्री भी बाहर नहीं जा सकते. ये 25 सालों के संकल्प को पूरा करने के लिए हमारे प्रण हैं.'
भाई भतीजावाद को करना होगा खत्म:- प्रधानमंत्री ने कहा कि हमें देश में भाई-भतीजावाद खत्म करना होगा. मैं जब परिवारवादकी बात करता हूं तो लोगों को लगता है कि सिर्फ राजनीति की बात कर रहा हूं लेकिन ऐसा नहीं है. मैं जब परिवारवाद की बात करता हूं तो सभी क्षेत्रों की बात करता हूं. पीएम ने सभी युवाओं से अपील कि मैं भाई-भतीजावाद के खिलाफ जंग युवाओं का साथ चाहता हूं.
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देश में भ्रष्टाचार बड़ी चुनौती:- PM ने कहा कि देश के सामने दो बड़ी चुनौतियां हैं. पहली भ्रष्टाचार और दूसरी भाई-भतीजावाद, परिवारवाद है. एक तरफ वो लोग हैं जिनके पास रहने के लिए जगह नहीं है और दूसरी तरफ वो लोग हैं जिनके पास चोरी किया माल रखने की जगह नहीं है. हमें भ्रष्टाचार के खिलाफ लड़ना है. जो लोग पिछली सरकारों में बैंकों को लूट-लूटकर भाग गए. हम उनकी संपत्ति जब्त कर रहे हैं. कई लोग जेल में हैं. जिन लोगों ने देश को लूटा है और ऐसी स्थिति बनाई है उन्हें लूटा हुआ पैसा लौटाना होगा.
PM ने जय जवान, जय किसान के साथ जोड़ा जय अनुसंधान:- पीएम नरेंद्र मोदी ने कहा, 'लाल बहादुर शास्त्री ने जय जवान, जय किसान का नारा दिया था लेकिन इसके बाद अटल बिहारी वाजयपी ने इसमें जय किसान जोड़ा और अब इसमें जय अनुसंधान जोड़ने का समय आ गया है. अब जय जवान, जय किसान, जय विज्ञान और जय अनुसंधान हो.
महात्मा गांधी का सपना पूरा करने के लिए खुद को किया समर्पित:- पीएम मोदी ने कहा, 'भारत लोकतंत्र की जननी है. मैं पहला व्यक्ति था जिसे लाल किले से देशवासियों के गौरवगान करने का मौका मिला था. जितना आपसे सीखा है, जाना है. आपके सुख दुख को जो जान पाया हूं. उसे लेकर मैंने पूरा कालखंड उन लोगों के लिए खपाया है. राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का जो सपना था, आखिरी व्यक्ति को लाभ पहुंचाने का. मैंने महात्मा गांधी का सपना पूरा करने के लिए खुद को समर्पित किया है.'
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कोरोना की 200 करोड़ डोज:- आने वाले 25 साल के लिए हमें 'पंच प्रण' पर अपनी शक्ति, संकल्पों और सामर्थ्य को केंद्रित करना होगा. आजादी के इतने दशकों बाद पूरे विश्व का भारत की तरफ देखने का नजरिया बदल चुका है. विश्व, भारत की तरफ गर्व और अपेक्षा से देख रहा है. समस्याओं का समाधान भारत की धरती पर, दुनिया खोजने लगी है. कोरोना के कालखंड में दुनिया वैक्सीन लेने या न लेने की उलझन में जी रही थी. उस समय हमारे देश लोगों ने 200 करोड़ डोज लेकर दुनिया को चौंका देने वाला काम करके दिखाया.
हम लोग नदी को मां मानते हैं:- आत्मनिर्भर भारत, ये हर नागरिक का, हर सरकार का, समाज की हर एक इकाई का दायित्व बन जाता है. आत्मनिर्भर भारत, ये सरकारी एजेंडा या सरकारी कार्यक्रम नहीं है, ये समाज का जनआंदोलन है, जिसे हमें आगे बढ़ाना है. हम वो लोग हैं, जो जीव में शिव देखते हैं, हम वो लोग हैं, जो नर में नारायण देखते हैं. हम वो लोग हैं जो नारी को नारायणी कहते हैं, हम वो लोग हैं, जो पौधे में परमात्मा देखते हैं. हम वो लोग हैं, जो नदी को मां मानते हैं, कंकड़-कंकड़ में शंकर देखते हैं.
भारत को लेकर विश्व की सोच बदली:- पीएम ने कहा, 'आजादी के इतने दशकों के बाद पूरे विश्व का भारत की तरफ देखने का नजरिया बदल चुका है. समस्याओं का समाधान भारत की धरती पर दुनिया खोजने लगी है. विश्व का ये बदलाव, विश्व की सोच में ये परिवर्तन 75 साल की हमारी यात्रा का परिणाम है.'
बलिदान देने वालों को नमन:- पीएम ने कहा, 'हिंदुस्तान का कोई कोना, कोई काल ऐसा नहीं था, जब देशवासियों ने सैंकड़ों सालों तक गुलामी के खिलाफ जंग न की हो, जीवन न खपाया हो, यातनाएं न झेली हो, आहुति न दी हो. ज हम सब देशवासियों के लिए ऐसे हर महापुरुष को, हर त्यागी और बलिदानी को नमन करने का अवसर है.'
क्रांति वीरों ने अंग्रेजों की हुकूमत को हिलाया:- पीएम मोदी ने कहा, 'देश कृतज्ञ है मंगल पांडे, तात्या टोपे, भगत सिंह, सुखदेव, राजगुरु, चंद्रशेखर आजाद, असफाक उल्ला खां, राम प्रसाद बिस्मिल ऐसे अनगिनत ऐसे हमारे क्रांति वीरों ने अंग्रेजों की हुकूमत की नींव हिला दी थी.'
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