डीएनए हिंदी: भारत की तीनों सेनाओं (Army, Navy और Airforce) में भर्ती के नियमों में कुछ बदलाव करने की तैयारी की जा रही है. इनके मुताबिक, भर्ती किए गए सैनिकों में से 100 प्रतिशत सैनिक हर चार साल बाद रिटायर कर दिए जाएंगे. इसके बाद 25 प्रतिशत सैनिकों को फुल टाइम सर्विस का मौका दिया जाएगा. कहा जा रहा है कि जल्द ही इन प्रस्तावों पर मुहर लग सकती है.
इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक, भर्ती के नियमों पर लगभग सहमति बन गई है और जल्द ही इसका ऐलान किया जा सकता है. नए प्रस्तावों को कुछ सैनिकों को ट्रेनिंग सहित कुल तीन साल की सर्विस के बाद रिटायर किया जाएगा. कुछ को पांच साल की संविदा की नौकरी करवाई जाएगी. सिर्फ़ 25 प्रतिशत सैनिकों को ही परमानेंट नौकरी के लिए रखा जाएगा.
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30 दिन के अंदर ही वापस बुलाए जाएंगे 25 पर्सेंट सैनिक
चार साल की नौकरी पूरी होने के बाद सभी को रिटायर कर दिया जाएगा. रिटायरमेंट के लगभग 30 दिनों के अंदर ही 25 प्रतिशत सैनिकों को वापस बुला लिया जाएगा. हालांकि, उनकी पिछले चार सालों की सर्विस को वेतन और पेंशन के निर्धारण के लिए गिना नहीं जाएगा. सरकार अपने इन कदमों से बड़ी बचत की तैयारी कर रही है.
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रिपोर्ट के मुताबिक, नेवी, आर्मी और एयर फोर्स के कुछ ट्रेड इन नियमों के अपवाद भी होंगे और उनमें चार साल की संविदा से परे रखा जा सकता है. उदाहरण के लिए, आर्मी मेडिकल कोर में कार्यरत कर्मचारी. एक प्रस्ताव यह है कि टेक्निकल ब्रांच के लिए उन लोगों को भर्ती किया जाए, जो ITI में पढ़ रहे हों, ताकि उनकी ट्रेनिंग पर समय और पैसा कम खर्च हो.
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दो सालों से सेना में नहीं हुई भर्ती
आपको यह भी बता दें कि पिछले दो सालों में सेना में कोई भर्ती नहीं हुई है. इस वजह से युवाओं में काफी चिंता और हताशा है. पंजाब और हरियाणा में भर्ती को लेकर विरोध प्रदर्शन भी हो चुके हैं. ऐसे में अगर इस तरह का ऐलान सरकार की ओर से किया जाता है तो युवाओं के लिए और भी समस्या खड़ी हो सकती है.
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