Israel और Hamas के बीच चल रही लड़ाई के रोजाना भयंकर होने के खिलाफ दुनिया भर में आवाज उठ रही हैं. अब इसका असर इजरायल के साथ दूसरे देशों के रिश्ते पर भी दिखने लगा है. अमेरिका ने कुछ दिन पहले इजरायल को हथियारों की सप्लाई बंद करने की घोषणा की है. अब स्पेन ने भी उस जहाज को अपने पोर्ट पर ठहरने की इजाजत देने से इंकार कर दिया है, जो भारत से इजरायल के लिए विस्फोटक लेकर जा रहा था. डेनमार्क के झंडे वाला यह जहाज भारत के चेन्नई से इजरायल के हाइफा पोर्ट पर जा रहा था. रास्ते में इस जहाज ने स्पेन के पोर्ट पर ठहरने की अनुमति मांगी थी, लेकिन स्पेन ने यह कहते हुए इंकार कर दिया कि 'मिडिल ईस्ट में शांति होने दीजिए'. हालांकि अभी तक स्पेन के इस फैसले को लेकर इजरायल या भारत का रिएक्शन सामने नहीं आया है. विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने इसे लेकर सवाल पूछे जाने पर स्पष्ट जवाब नहीं दिया है.
स्पेन के विदेश मंत्री ने दी है मीडिया को जानकारी
न्यूज एजेंसी AFP के मुताबिक, स्पेन ने इजरायल जा रहे विस्फोटकों से भरे जहाज को अपने पोर्ट पर नहीं ठहरने दिया है. स्पेन के विदेश मंत्री जोश मैनुएल अल्बारेज ने खुद ब्रसेल्स में मीडिया को इस बात की जानकारी दी है. अल्बारेज ने मीडिया से कहा कि मिडिल ईस्ट को हथियारों की नहीं, शांति की जरूरत है. इस कारण हथियारों की खेप लेकर इजरायल जा रहे जहाज को स्पेन के पोर्ट पर ठहरने की अनुमति नहीं दी गई है. स्पेन के ट्रांसपोर्ट मंत्री ऑस्कर पुएंते के मुताबिक, मैरिएन डेनिका नाम के डेनिश जहाज ने 21 मई को स्पेन के पोर्ट पर ठहरने की अनुमति मांगी थी. भारत से इजरायल जा रहा यह जहाज दक्षिण पूर्वी स्पेन के काताजीना पोर्ट पर ठहरना चाहता था. स्पेनिश अखबार 'एल पेस' ने इस जहाज पर 27 टन विस्फोटक मौजूद होने का दावा किया है.
स्पेन में छिड़ गया है हथियारों के जहाज पर राजनीतिक विवाद
स्पेन में हथियारों से लदे जहाजों को लेकर राजनीतिक विवाद भी छिड़ गया है. सत्ताधारी सोशलिस्ट पार्टी की सहयोगी समर पार्टी ने हथियारों से भरे विदेशी जहाजों को स्पेनिश पोर्ट पर ठहरने की इजाजत देने का विरोध किया है. समर पार्टी ने इन हथियारों का इस्तेमाल इजरायल पहुंचने पर गाजा में हमलों के लिए किए जाने का आरोप लगाया था. हालांकि स्पेन के ट्रांसपोर्ट मंत्री पुएंते ने इसे गलत बताया है. उन्होंने कहा है कि समर पार्टी जिस 'बोरकम' नाम के जहाज को लेकर आपत्ति जता रही है, उसमें इजरायल का नहीं बल्कि चेक रिपब्लिक का मिलिट्री मैटीरियल था. यह जहाज भी काताजीना पोर्ट पर ठहरा था.
स्पेन लगातार करता रहा है इजरायल के हमले का विरोध
इजरायल के गाजा पर हमले का स्पेन लगातार विरोध करता रहा है. AFP के मुताबिक, स्पेन के प्रधानमंत्री पेड्रो सांचेज फिलिस्तीन को एक देश के तौर पर मान्यता देने पर भी विचार कर रहे हैं. मार्च में ही सांचेज ने कहा था कि वे आयरलैंड, स्लोवेनिया और माल्टा के साथ मिलकर फिलिस्तीन को जल्द मान्यता देंगे.
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