डीएनए हिंदी: केंद्रीय विद्यालय संगठन ने आज बड़ा फैसला लेते हुए सांसद और जिलाधिकारी कोटे पर अगले आदेश तक रोक लगा दिया है. सांसद कोटे को लेकर पहले भी कई संगठनों ने विरोध जताया था. केंद्रीय विद्यालय में सस्ती शिक्षा की वजह से प्रवेश के लिए खासी मारामारी रहती है.
सांसद और जिलाधिकारी कोटे पर लगाई रोक
केंद्रीय विद्यालय संगठन (Kendriya Vidyalaya Sangathan) ने गुरुवार को एक बड़ा फैसला लेते हुए सांसद और जिलाधिकारी कोटे से केवी में अगले आदेश तक एडमिशन पर रोक लगा दी है. बता दें कि अब तक किसी भी केंद्रीय विद्यालय में सांसद और जिलाधिकारियों के लिए 10 सीटों का कोटा रहता था. अब केंद्रीय विद्यालय संगठन ने इस कोटे के तहत दिए जाने वाले दाखिलों पर रोक लगा दी है.
शिक्षा मंत्रालय का कोटा भी किया जा चुका है खत्म
सांसद या फिर जिलाधिकारी अपने क्षेत्र में सिफारिश पर कोटे के आधार पर 10 छात्रों को दाखिला दिला सकते थे. अब अगले आदेश तक इस पर रोक लगा दी गई है. बता दें कि जिस तरह से सांसदों और जिलाधिकारियों केंद्रीय विद्यालय में कोटा निर्धारित था ठीक उसी प्रकार शिक्षा मंत्रालय के लिए भी 450 सीटों का कोटा हुआ करता था. यह कोटा भी पिछले साल ही पूरी तरह से समाप्त कर दिया गया था.
कोरोना महामारी में पैरेंट्स को खोने वाले बच्चों को मिलेगी प्राथमिकता
इस बार केंद्रीय विद्यालय संगठन ने फैसला लिया है कि केवीएस में उन छात्रों को प्रवेश में प्राथमिकता दी जाएगी जिन्होंने कोरोना महामारी के कारण अपने माता-पिता को खो दिया है. अब तक मिली जानकारी के अनुसार, इस वर्ष केंद्रीय विद्यालय में किसी भी कक्षा में प्रवेश दिए जाने पर इन नियमों का प्रयोग किया जाएगा.
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