डीएनए हिंदी: 100 करोड़ की जबरन उगाही (Extortion) केस में मुंबई पुलिस (Mumbai Police) के बर्खास्त पुलिस अधिकारी सचिन वाजे (Sachin Waze) ने महाराष्ट्र के पूर्व गृहमंत्री अनिल देशमुख (Anil Deshmukh) को अपनी तरफ से क्लीन चिट दे दी है. सचिन वाजे ने चांदीवाल आयोग ( Chandiwal commission) के सामने कहा कि अनिल देशमुख या उनके स्टाफ की तरफ से कभी पैसे (Money) की कोई डिमांड नहीं की थी. अनिल देशमुख और सचिन वाजे दोनों चांदीवाल आयोग के सामने 14 दिसंबर को पेश हुए.
अनिल देशमुख के वकील गिरीश कुलकर्णी (Girish Kulkarni) से पूछताछ के दौरान सचिन वाजे ने कहा कि पूर्व गृह मंत्री या उनके स्टाफ किसी ने पैसे की मांग नहीं की थी. यह पूछे जाने पर कि क्या अनिल देशमुख ने गृह मंत्री रहने के दौरान शहर में एक बियर बार से रंगदारी (extortion) की मांग की थी सचिन वाजे ने कहा कि उन्हें याद नहीं है.
पूरे केस की सुनवाई अब 21 दिसंबर को चांदीवाल आयोग के सामने होगी. जांच आयोग ने समय मांगने पर महाराष्ट्र के पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख पर 15,000 रुपये का जुर्माना भी लगाया है. गौरतलब है कि सचिन वाजे को को एंटीलिया मामले (Antilia Case) में गिरफ्तार किया गया था. अनिल देशमुख और सचिन वाजे दोनों राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) और प्रवर्तन निदेशालय (ED) के अलग-अलग मामलों में न्यायिक हिरासत में हैं.
क्या है 100 करोड़ की उगाही का मामला?
चांदीवाल आयोग मुंबई के पूर्व कमिश्नर परमबीर सिंह की ओर से लगाए गए भ्रष्टाचार के आरोपों की जांच कर रहा है. परमबीर सिंह ने आरोप लगाया था कि तत्कालीन गृहमंत्री अनिल देशमुख बर्खास्त किए गए असिस्टेंट इंस्पेक्टर सचिन वाजे से हर महीने मुंबई के होटलों और बार से 100 करोड़ रुपये की उगाही कराते थे. पूरे केस की जांच जारी है.
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