डीएनए हिंदी: मणिपुर में शांति बहाली की उम्मीद अब साफ नजर आ रही है. हालात काबू में होने के बाद मणिपुर के स्कूल 9 दिनों की बंदी के बाद शुक्रवार को फिर से खुलेंगे. मणिपुर स्कूल शिक्षा विभाग के निदेशक एल नंदा कुमार सिंह ने एक आदेश में कहा कि गृह विभाग के परामर्श से शुक्रवार से सभी सरकारी, सरकारी सहायता प्राप्त और निजी स्कूलों को फिर से खोलने का निर्णय लिया गया है.
छात्रों के आंदोलन को देखते हुए, राज्य सरकार ने 27 सितंबर को राज्य के सभी स्कूलों को 5 अक्टूबर तक बंद कर दिया था और 6 अक्टूबर तक मोबाइल इंटरनेट सेवाओं पर फिर से प्रतिबंध लगा दिया था. मणिपुर में हालात इतने बिगड़ गए थे कि प्रदर्शनकारियों ने पूर्वी इंफाल में भीषण हंगामा किया था. सीएम एन बीरेन सिंह के पैतृक आवास तक प्रदर्शनकारी आग लगाने पहुंच गए थे.
छात्र की हत्या के खिलाफ प्रदर्शनकारी बेहद आक्रोशित थे. पूरे इंफाल में व्यापक आंदोलन चलाया गया था. लोग सड़कों पर उतरकर छात्र के लिए इंसाफ मांग रहे थे. एन बीरेन सरकार पर दबाव बढ़ गया था. हिंसा रोकने के लिए सरकार को रैपिड एक्शन फोर्स की कई टीमें तैनात करनी पड़ी थीं.
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मणिपुर में क्यों दोबारा भड़की थी हिंसा?
17 वर्षीय छात्रा हिजाम लिनथोइनगांबी और 6 जुलाई को 20 वर्षीय फिजाम हेमजीत की हत्या के खिलाफ इंफाल में 26 और 27 सितंबर को बड़े पैमाने पर छात्र आंदोलन हुए. मारे गए दोनों छात्रों की तस्वीरें अलग-अलग वेबसाइटों पर प्रसारित की गईं. 25 सितंबर को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर तीव्र आंदोलन शुरू हो गया, जिसमें सुरक्षा बलों के साथ झड़प में लड़कियों सहित कम से कम 100 छात्र घायल हो गए. (इनपुट: IANS)
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