डीएनए हिंदी: देश में भीषण गर्मी के बाद मानसून ने दस्तक दे दी है और बारिश के चलते लोगों को गर्मी से राहत मिली है लेकिन यह बारिश ही परेशानी का सबब बनकर भी आई है. मुंबई से लेकर दिल्ली तक में बारिश के चलते ट्रैफिक ठप पड़ गया है और लोगों का बाहर निकलना तक मुश्किल हो गया है. इतना ही नहीं, निचले इलाकों में जलभराव के चलते लोगों को सबसे ज्यादा परेशानी हो रही है. वहीं असम में बारिश एक बार फिर बाढ़ की तबाही लेकर आई है. इस बाढ़ से अब तक राज्य के करीब 5 लाख लोग प्रभावित हो चुके हैं, यहां के गावं पानी में डूब चुके हैं.
दरअसल, मानसून की दस्तक के साथ ही भारी बारिश के चलते मुंबई और उसके आस-पास के शहर में भारी तबाही देखने को मिली है. मौसम विभाग के मुताबिक पिछले 24 घंटों में मुंबई में 104 मिलीमीटर बारिश हुई. इस दौरान मुंबई के पूर्वी इलाकों में 123 ml और पश्चिमी इलाकों में 139 ml बारिश हुई है. दिल्ली एनसीआर में भी मानसून की दस्तक के साथ ही शनिवार रात से मूसलाधार बारिश का दौर जारी है.
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मौसम विभाग के मुताबिक दिल्ली में अधिकतम 5 सेमी बारिश दर्ज की गई है जो कि अगले 2 दिन तक जारी रहेगी. मुंबई क्षेत्र में सबसे ज्यादा 18 सेमी बारिश दर्ज की गई और आज भी भारी से बहुत भारी बारिश हो सकती है. इसके अलावा मध्य भारत में मानसून सक्रिय है. मौसम विभाग ने मुंबई समेत महाराष्ट्र कई अन्य जिलों के लिए ऑरेंज और येलो अलर्ट जारी किया है. अनुमान है कि अगले कुछ दिनों तक मुंबई और उसके आस-पास के इलाकों में बारी बारिश जारी रहेगी.
एक तरफ जहां मानसून के चलते दिल्ली-मुंबई समेत देश के प्रमुख शहरों में जमकर बारिश हो रही है, तो वहीं असम में इस साल भी बाढ़ का कहर देखने को मिल रहा है. बाढ़ से असम की करीब 11 हजार हेक्टेयर जमीन पर खड़ी फसल बर्बाद हो गई है. इससे राज्य में सब्जियों के दाम आसमान छू रहे हैं. बाढ़ के चलते सप्लाई चेन भी प्रभावित हुई है, इसकी वजह से भी राज्य में खाने-पीने के अन्य सामान की किल्लत हो गई है और चीजें महंगे दामों पर मिल रही हैं.
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रिपोर्ट्स के मुताबिक असम में आई बाढ़ से अभी तक 19 जिलों के करीब 4.89 लाख लोग प्रभावित हुए हैं. बीते 24 घंटे में बाढ़ से नलबाड़ी जिले में एक व्यक्ति की डूबने से मौत हो गई. राज्य आपदा प्रबंधन की रिपोर्ट के अनुसार अकेले बाजाली जिले में बाढ़ से ढाई लाख लोग प्रभावित हुए हैं. असम की इस बाढ़ ने 1,538 गांवों को अपनी चपेट में लिया है.
असम में बाढ़ को लेकर गृहमंत्री अमित शाह ने बताया कि भारी बारिश के कारण असम के कुछ हिस्सों में लोग बाढ़ जैसी स्थिति का सामना कर रहे हैं. मैंने सीएम हिमंत बिस्व सरमा से बात की है और हर संभव सहायता देने का आश्वासन दिया है. NDRF की टीमें पहले से ही जमीन पर राहत और बचाव अभियान चला रही हैं और पर्याप्त बल तैयार हैं.
ताजा रिपोर्ट बताती हैं कि ब्रह्मपुत्र नदी धुबरी और जोरहाट जिलों में खतरे के निशान से ऊपर बह रही है. बाढ़ प्रभावितों के लिए 14 बाढ़ प्रभावित जिलों में 140 राहत कैंप और 75 राहत डिस्ट्रीब्यूशन सेंटर स्थापित किए गए हैं. इन राहत कैंपों में 35,142 लोग ठहरे हुए हैं. बड़ी संख्या में प्रभावित लोग सड़क के किनारे और अन्य जगहों पर रहने को मजबूर हैं.
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जानकारी के मुताबिक एनडीआरएफ, एसडीआरएफ, फायर, इमरजेंसी सर्विस और सिविल डिफेंस के कर्मचारी बाढ़ प्रभावित इलाकों में राहत और बचाव कार्यों में जुटे हैं. बाढ़ से असम में आधारभूत ढांचे को भी बड़ा नुकसान हुआ है. बाढ़ के चलते असम की 213 सड़कें, 14 पुल, कई कृषि बंध, स्कूल की इमारतें, सिंचाई नहरें आदि तबाह हो गए हैं.
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