डीएनए हिंदी: रूस यूक्रेन युद्ध (Russia-Ukraine War) के बीच स्थितियां इतनी भयानक हैं कि भारत में यह डर था कि वहां पर फंसे हजारों भारतीय छात्रों का क्या होगा और क्या वे सुरक्षित वापस आ पाएंगे लेकिन भारत सरकार ने ऑपरेशन गंगा के तहत इस वापसी को अंजाम दिय है. इस ऑपरेशन में भारतीय पायलटों का भी विशेष योगदान है जो जान जोखिम में डालकर निकल पड़े थे जिनमें से एक पायलट महाश्वेता चक्रवर्ती (Mahashweta Chakroborty) भी हैं.
24 वर्षीय महाश्वेता के साहस, जज्बे और सूझबूझ की प्रशंसा की जा रही है कि उन्होंने न सिर्फ युद्धग्रस्त क्षेत्र में विमान को लैंड कराए बल्कि वहां से 800 जिंदगियों को भी बचाने में सफलता पाई. पोलैंड-हंगरी सीमा से महश्वेता ने उड़ान भरकर 800 भारतीयों को सुरक्षित वापस अपने घर पहुंचाया है. इसके लिए उनकी देश में जमकर तारीफ की जा रही है.
महाश्वेता ने अपना अनुभव साझा करते हुए बताया कि ऑपरेशन गंगा के तहत छात्रों का रेस्क्यू उनके लिए लाइफटाइम एक्सपीरियंस है. महाश्वेता ने बताया कि उन्हें देर रात कॉल आई थी. इस दौरान उन्हें बताया गया कि वह ऑपरेशन गंगा की सदस्य चुनी गई हैं और उन्हें युद्धग्रस्त देश में फंसे छात्रों को सुरक्षित वापस लाना है.
जानकारी के मुताबिक महाश्वेता चक्रवर्ती ऑक्सिलियम कॉन्वेंट स्कूल की स्टूडेंट रह चुकी हैं. वह अपने माता-पिता की इकलौती संतान हैं और हमेशा से पायलट बनना चाहती थीं. महाश्वेता की मां तनुजा चक्रवर्ती बंगाल बीजेपी महिला मोर्चा की अध्यक्ष हैं.
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गौरतलब है कि महाश्वेता 'ऑपरेशन गंगा' से पहले भी एक मेजर इमर्जेंसी ऑपरेशन का हिस्सा रह चुकी हैं. कोविड-19 के दौरान जब पूरे विश्व में लॉकडाउन लगा हुआ था तब वंदे भारत मिशन का भी वह हिस्सा रही थीं और उस दौरान भी उन्होंने मोर्चा संभाला था.
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