डीएनए हिंदी: 28 मई को पीएम मोदी (PM Modi) देश की नई संसद (New Parliament Building Inauguration) का उद्घाटन करने वाले हैं. इसको लेकर 20 विपक्षी दलों ने मोर्चा खोल रखा है और यह तक कहा है कि अगर मोदी नई संसद का उद्घाटन करेंगे तो वे इस कार्यक्रम का बायकॉट करेंगे. इस बीच पीएम मोदी तीन देशों की विदेश यात्रा पर थे और आज जब वो लौटे तो उन्हें अचानक ऑस्ट्रेलिया की याद आ गई. उन्होंने विपक्षी दलों पर तंज कसते हुए कहा कि ऑस्ट्रेलिया में उनके पक्ष और विपक्ष के नेता लोकतांत्रिक कार्यक्रम में एक साथ बैठते हैं.
दरअसल, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी तीन देशों का दौरा करने के बाद गुरुवार को भारत लौट आए. इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भाजपा कार्यकर्ताओं ने उनका भव्य स्वागत किया. कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए इशारों-इशारों में पीएम मोदी ने विपक्ष पर तंज भी कसा है. उन्होंने कहा कि ऑस्ट्रेलिया में उनके जिस कार्यक्रम में वहां के पीएम को भी नहीं आना था, वहां ऑस्ट्रेलियाई पीएम के साथ पक्ष विपक्ष के कई नेता सर्वसम्मति से मौजूद थे.
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एक साथ बैठे थे पक्ष विपक्ष के सांसद और नेता
दिल्ली के पालम एयरपोर्ट पर बीजेपी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए पीएम मोदी ने कहा, "साथियों आपको जानकर खुशी होगी कि भारतीय समुदाय के कार्यक्रम में ऑस्ट्रेलिया के पीएम का आना हम सभी के लिए गौरव की बात है ही. लेकिन इतना ही नहीं, उस समारोह में पूर्व प्रधानमंत्री भी थे. विपक्ष के सांसद थे, सत्ता पक्ष के सांसद थे. सब के सब मिलजुल कर भारतीय समुदाय के इस कार्यक्रम में शामिल हुए थे."
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20 विपक्षी दलों ने किया है विरोध
देश लौटने के तुरंत बाद पीएम मोदी के इस बयान को विपक्षी दलों के लिए हमला माना जा रहा था. इसकी वजह यह है कि पीएम मोदी 28 मई को जिस नई संसद का उद्घाटन करने वाले हैं, 20 राजनीतिक पार्टियों ने उसका विरोध करते हुए समारोह का बायकॉट करने का ऐलान किया है. विपक्षी दलों का कहना है कि पीएम मोदी को नहीं बल्कि देश की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को नई संसद का उद्घाटन करना चाहिए. विपक्षी दल मोदी सरकार के इस कदम को लोकतंत्र का अपमान बता कर समारोह का बहिष्कार करने का ऐलान कर चुके हैं.
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इन विपक्षी पार्टियों का मिला साथ तो आक्रामक हो गई सरकार
हालांकि, एनडीए सरकार को इस दौरान YSRCP, BJD, SAD और बीएसपी जैसे राजनीतिक दलों का साथ भी मिला है. बीजेपी विपक्षी दलों के इस रवैये को मोदी विरोध और विपक्षी एकता के लिए की जा रही एक पहल बताकर हमला बोल रही है कि विपक्ष लोकंतात्रिक समारोहों में भी सियासी रोटियां सेक रहा है.
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