UNHRC से रूस को बाहर करने के लिए भारत ने क्यों नहीं किया वोट? समझें वजह

| Updated: Apr 08, 2022, 06:59 AM IST

संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद.

भारत ने रूस को UNHRC से बाहर करने पर हुई वोटिंग से खुद को दूर रखा है.

डीएनए हिंदी: यूक्रेन (Ukraine) के बुचा शहर (Bucha) में हुए नरसंहार का आरोप रूस (Russia) पर लगा है. बुचा शहर में भीषण त्रासदी की स्थिति मची है. रूस को संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (UNHRC) से निलंबित करने का प्रस्ताव संयुक्त राष्ट्र महासभा (UNGA) में पास हो गया है.

58 देशों ने वोटिंग से दूरी बनाए रखी जिसमें भारत भी शामिल है. 93 देशों ने इस प्रस्ताव के पक्ष वोट किया, जबकि 24 देश इसके खिलाफ रहे. भारत ने अब तक इस मुद्दे पर तटस्थ रुख अपनाए रखा है. देश ने पहले भी संयुक्त राष्ट्र में हुईं वोटिंग से परहेज किया था.

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भारत ने क्यों नहीं किया वोट?

भारत  रूस को संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद से बाहर करने के लिए हुई वोटिंग में भाग नहीं लेने स्पष्टीकरण दिया है. संयुक्‍त राष्‍ट्र में भारत के दूत टीएस त्रिमूर्ति ने इस मुद्दे पर कहा, 'हम बिगड़ रहे हालात को लेकर बेहद चिंतित है और सभी तरह की शत्रुता को खत्‍म के अपने आह्वान को दोहराते हैं. जब निर्दोष मानव जीवन दांव पर लगा हो तो कूटनीति को एकमात्र व्‍यवहार्य विकल्‍प के रूप में माना जाना चाहिए'.

शांति, संवाद और कूटनीतिक रास्ते से निकलेगा हल

अपने फैसले के कारण पर प्रकाश डालते हुए भारत ने कहा है कि यूक्रेन में संघर्ष की शुरुआत से ही हम शांति, संवाद और कूटनीतिक रास्‍ते से मामले के समाधान के पक्ष में खड़े रहे हैं. भारत का साफ तौर पर मानना है कि खून बहाकर और निर्दोष लोगों की कीमत पर कोई समाधान नहीं निकाला जा सकता है. अगर भारत को कोई पक्ष चुनना है तो वह पक्ष शांति के लिए और हिंसा को तत्‍काल समाप्‍त करने के लिए हैं.

भारत ने हमेशा बनाए रखी है दूरी

यूक्रेन संकट को लेकर भारत लगातार तटस्‍थ बना हुआ है. देश ने कई बार कहा है कि भारत शांति के पक्ष में है और उम्‍मीद करता है कि बातचीत के जरिए सभी समस्‍याओं का समाधान तलाशा जाएगा. पिछले महीने भी संयुक्त राष्ट्र महासभा ने यूक्रेन के खिलाफ रूस के हमले की कड़ी निंदा करने वाला प्रस्ताव पारित किया था. भारत ने इस प्रस्ताव पर मतदान में भाग नहीं लिया था.

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बुचा नरसंहार के खिलाफ क्या बोला भारत?

भारत ने संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में बुचा नरसंहार के खिलाफ कड़ा बयान जारी किया है. यूक्रेन के बुचा में आम नागरिकों की हत्याओं की निंदा की और एक स्वतंत्र जांच की अपील का समर्थन किया था. भारत ने कहा था कि बुचा को लेकर सामने आई रिपोर्ट परेशान करने वाली हैं. हमने इन हत्याओं की स्पष्ट रूप से निंदा करते हैं और एक स्वतंत्र जांच की अपील का समर्थन करते हैं. भारत रूस-यूक्रेन युद्ध पर तटस्थ खड़ा रहा है.

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