Uttar Pradesh: क्या पार्टी बदलेंगे Azam Khan? जानिए दिया क्या जवाब

Written By डीएनए हिंदी वेब डेस्क | Updated: May 24, 2022, 06:01 PM IST

सपा नेता आजम खान (फाइल फोटो)

Azam Khan अब जेल से बाहर आ चुके हैं. समाजवादी पार्टी से नाराजगी पर उन्होंने अभी तक कुछ भी खुलकर नहीं कहा है.

डीएनए हिंदी: समाजवादी पार्टी (सपा) से कथित तौर पर नाराज वरिष्ठ पार्टी नेता एवं विधायक मोहम्मद आजम खान (Azam Khan) ने सपा छोड़ किसी अन्य दल में शामिल होने की संभावनाओं पर मंगलवार को कहा कि 'कोई माकूल कश्ती सामने तो आए, अभी तो मेरा जहाज काफी है'. आजम खान ने वरिष्ठ कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल को सपा द्वारा राज्यसभा चुनाव में उम्मीदवार बनाए जाने की अटकलों पर कहा कि अगर सिब्बल को राज्यसभा भेजा जाता है तो सबसे ज्यादा खुशी मुझे होगी.

उत्तर प्रदेश विधानमंडल के मौजूदा सत्र के लगातार दूसरे दिन भी सदन में उपस्थित नहीं हुए आजम खान (Azam Khan) ने संवाददाताओं से बातचीत में अपनी गैर हाजरी के कारण के बारे में पूछे जाने पर बताया, "मेरा स्वास्थ्य अच्छा नहीं है. आपने अंदाजा लगाया होगा. मुझे खड़े होने में भी परेशानी हो रही है. मैं सदन के लिए चुन कर आया हूं, (सदन में) तो आऊंगा ही." आजन खान ने सपा से नाराजगी के सवाल पर कहा, "मैंने किसी दूसरी कश्ती के तरफ से देखा तक नहीं है, सवार होना तो बहुत दूर की बात है.... लेकिन अब अंदाजा यह हुआ है कि सलाम दुआ सबसे रहनी चाहिए."

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इस सवाल पर कि क्या अब वह किसी और कश्ती की तरफ देखेंगे, आजम खान ने कहा, "पहले कोई माकूल कश्ती सामने तो आए... अभी तो मेरा जहाज काफी है."

जब उनसे सवाल किया गया कि वह परसों से लखनऊ में हैं, क्या सपा संस्थापक मुलायम सिंह यादव ने उनका हालचाल लिया, आजम खान ने कहा, "इतनी बड़ी शख्सियत के बारे में मैं कोई टिप्पणी तो कर नहीं सकता. वह अपनी राय और अपनी मर्जी के खुद मालिक हैं."

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सपा द्वारा कपिल सिब्बल को राज्यसभा भेजने की कवायद की खबरों के बारे में आजम खान ने कहा, "वह उनका हक भी है और वह जिस पार्टी से भी जाएंगे, वह उस पार्टी के लिए भी सम्मान का विषय रहेंगे. वह इस कदर मोहतरम (सम्मानित) शख्सियत हैं. शायद उनके होने से सबसे ज्यादा खुशी किसी को होगी तो, वह मुझे ही होगी."

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इस सवाल पर कि क्या सिब्बल को राज्यसभा भेजकर आपकी सपा से नाराजगी को कम करने की कोशिश की जा रही है, आजम खान ने कहा, "नहीं नहीं, मैं नाराजगी की हैसियत में हूं ही नहीं. एक बीमार और कमजोर आदमी हूं."

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गौरतलब है कि भ्रष्टाचार तथा अनेक अन्य आरोपों में पिछले 27 महीने से सीतापुर जेल में बंद रहने के बाद पिछले शुक्रवार को रिहा हुए आजम खान को उच्चतम न्यायालय से जमानत दिलवाने में कपिल सिब्बल की महत्वपूर्ण भूमिका रही थी. उन्होंने वकील के तौर पर आजम खान की पैरवी की थी. ऐसी अटकलें लगाई जा रही हैं कि सपा कपिल सिब्बल को राज्यसभा भेज सकती है. हालांकि पार्टी ने इसकी पुष्टि नहीं की है.

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उत्तर प्रदेश विधानसभा में सपा की 111 सीटें हैं और वह तीन सदस्यों को आसानी से राज्यसभा भेज सकती है. राज्यसभा के लिए नामांकन की प्रक्रिया मंगलवार को शुरू हो गई. कपिल सिब्बल वर्ष 2016 में कांग्रेस के टिकट पर सपा की मदद से राज्यसभा सदस्य चुने गए थे, मगर राज्य में कांग्रेस विधानसभा चुनाव में महज दो सीटें जीत पाई थी. इस वजह से वह किसी को भी संसद के उच्च सदन में अपने दम पर पहुंचाने की स्थिति में नहीं है.

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