Ayodhya: जनवरी 2024 तक श्रद्धालुओं के लिए शुरू हो जाएगा राममंदिर, क्या होगी खासियत?

Written By डीएनए हिंदी वेब डेस्क | Updated: Jun 22, 2022, 09:08 AM IST

Ayodhya Sri Ram Mandir: राममंदिर निर्माण का काम तेजी से चल रही है. 2024 की शुरूआत में ही इसे श्रद्धालुओं के लिए खोल दिया जाएगा.  

डीएनए हिंदीः अयोध्या (Ayodhya) में राम मंदिर (Ram Mandir) बनाने का काम तेजी से चल रहा है. श्रद्धालु बेसब्री से इंतज़ार कर रहे हैं कि आखिर इस भव्य मंदिर में रामलला के दर्शन कब होंगे? राम मंदिर का उद्घाटन 2024 में मकर संक्रांति पर होने की संभावना है. जानकारी के मुताबिक मंदिर का निर्माण कार्य लगभग 30 प्रतिशत पूरा हो चुका है. 

क्या होगी खासियत? 
अयोध्या के श्री राम जन्मभूमि मंदिर के प्रथम तल में कुल 14 दरवाजे होंगे. प्रथम तल पर गर्भगृह होगा, जहां रामलला विराजमान होंगे. उस दरवाजे को छोड़कर 13 दरवाजे श्रद्धालुओं के मंदिर में प्रवेश और निकास के लिए होंगे. इन दरवाजों की डिजाइन और धातुओं का चयन हो चुका है. जानकारी के मुताबिक मंदिर का प्रथम तल जनवरी 2024 में राम भक्तों को दर्शन के लिए खोला जा सकता है. इन दरवाजों की डिजाइन और धातुओं का चयन हो चुका है. इसी के साथ जब प्रथम तल का निर्माण कार्य पूरा होगा, उस समय 2500 दर्शनार्थियों की सुविधा के लिए व्यवस्था होगी. इन व्यवस्थाओं में विश्राम करने और बैठकर खाने-पीने की व्यवस्था भी शामिल होगी.

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बिना लोहे के तैयार हो रहा मंदिर  
अयोध्या के राम मंदिर निर्माण में कहीं भी लोहा इस्तेमाल नहीं किया जा रहा है. लोहा क्यों नहीं होगा, इसके दो कारण बताए जा रहे हैं. पहला ये कि किसी भी प्राचीन मंदिर के निर्माण में लोहे का इस्तेमाल नहीं किया गया. पुराने जमाने में लोहा और सीमेंट तो बने ही नहीं थे, चूने की मिट्टी बनती थी. तो इस तरह राम मंदिर को भी प्राचीन काल के मंदिरों की तरह ही हम बिना लोहे का बना रहे हैं. यही वजह है कि मंदिर का फाउंडेशन कंक्रीट सीमेंट का बनाया गया है और हम इसे कॉम्पेक्टेड सीमेंट स्ट्रक्चर (CCR) कहते हैं.  

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मंदिर निर्माण में इस्तेमाल हुआ सबसे मजबूत ग्रेनाइट पत्थर
राममंदिर निर्माण के लिए प्लिंथ स्ट्रक्चर (चबूतरा) साढ़े 5 मीटर का है. इसके निर्माण में सबसे मजबूत पत्थर ग्रेनाइट है. कर्नाटक से ग्रेनाइट के 17 हजार स्लैब मंगाए गए हैं. रामंमदिर में 2100 किलो का घंटा भी लगाया जाएगा. इसका निर्माण उत्तर प्रदेश के जलेसर में हो रहा है. इसके निर्माण में करीब 10 लाख रुपये की लागत आ रही है. 

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