UP Ration Card: यूपी में सरेंडर करने होंगे राशन कार्ड या होगी रिकवरी? योगी सरकार ने बताई सच्चाई

Written By डीएनए हिंदी वेब डेस्क | Updated: May 23, 2022, 12:14 PM IST

राशन कार्ड के बारे में यूपी सरकार ने जारी किया स्पष्टीकरण

UP Ration Card: योगी सरकार ने राशन कार्ड सरेंडर करने और ऐसा न करने पर वसूली किए जाने पर जारी चर्चा और बहस के बीच एक स्पष्टीकरण जारी किया है.

डीएनए हिंदी: उत्तर प्रदेश में राशन कार्ड के नियमों (UP Ration Card Rules) को लेकर खूब चर्चा हो रही है. कहा जा रहा है कि राशन कार्ड सरेंडर करने होंगे या लोगों से वसूली भी की जा सकती है. इसी वजह से लोगों में भ्रम की स्थिति बन रही थी और लोग राशन कार्ड (Ration Card) निरस्त कराने के लिए दफ्तरों के चक्कर काटने लगे. इस मामले में उत्तर प्रदेश की सरकार (UP Government) ने स्पष्टीकरण जारी किया है. 

यूपी के खाद्य एवं रसद विभाग के कमिश्नर सौरभ बाबू ने कहा है, 'राशन कार्ड सरेंडर करने का कोई आदेश हमारे या शासन के स्तर से जारी नहीं किया गया है. राशन कार्ड का सत्यापन एक सामान्य प्रक्रिया है और कार्ड निरस्त करने और न ही वसूली के लिए कोई आदेश जारी किया गया है.'

राशन कार्ड सरेंडर करने लगे लोग
दरअसल, यूपी में कई जिलों के अधिकारियों ने आदेश जारी किए हैं कि जो अपात्र हैं वे अपने राशन कार्ड सरेंडर कर दें. आदेश में कहा गया है कि जो राशन कार्ड सरेंडर नहीं करेंगी उनसे वसूली भी की जा सकती है. इस तरह की खबरें सामने आने के बाद राशन कार्ड सरेंडर करने वालों की बाढ़ सी आ गई. सिर्फ़ अप्रैल में ही 43 हजार लोगों ने अपने राशन कार्ड सरेंडर कर दिए.

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इसी मामले में रविवार को खाद्य आयुक्त ने स्पष्टीकरण जारी किया. उनके मुताबिक, यह बात पूरी तरह से आधारहीन है. उनकी ओर से ऐसा कोई आदेश जारी ही नहीं किया गया है. उन्होंने कहा कि राशन कार्ड सरेंडर करने और उसकी पात्रता की नई शर्तों के बारे में जो भी प्रचार हो रहा है वह आधार हीन है.

नियमों में नहीं हुआ है कोई बदलाव
कमिश्नर सौरभ बाबू ने कहा कि राशन कार्ड की पात्रता या अपात्रता के बारे में 7 अक्टूबर 2014 को मानक निर्धारित किए गए थे जिनमें अभी तक कोई बदलाव नहीं किया गया है. उन्होंने यह भी साफ किया है कि सरकारी मकान, बिजली का कनेक्शन, एक शस्त्र लाइसेंस, मोटर साइकल, मुर्गी या गौ पालन होने के आधार पर किसी का राशन कार्ड निरस्त किया जा सकता है.

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उन्होंने यह भी कहा है कि नियमों के मुताबिक, किसी से भी कोई वसूली नहीं की जा सकती है. सौरभ बाबू ने कहा कि इस मामले में लगता है कि जिले के स्तर पर कोई कन्फ्यूजन हुआ है. आपको बता दें कि 1 अप्रैल 2020 से लेकर अब तक उत्तर प्रदेश में 29.53 लाख नए राशन कार्ड जारी किए जा चुके हैं. 

जिलाधिकारियों के आदेश के बाद मची अफरा-तफरी
कई जिलों में अधिकारियों की ओर से राशन कार्ड सरेंडर किए जाने का आदेश जारी किया गया. इस आदेश में कहा गया कि जो अपात्र राशन कार्ड सरेंडर नहीं करेंगे उनसे वसूली भी करवाई जाएगी. यह मामला तेजी से चर्चा में आया और लोग परेशान होकर अपने राशन कार्ड सरेंडेर होने लगे. आखिरकार सरकार ने इस मामले में स्पष्टीकरण जारी किया है.

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